संजय सिंह इस शर्त पर खरा नहीं उतरते… AAP सांसद के बारे में कोर्ट ने क्यों की यह टिप्पणी?
दिल्ली की एक अदालत ने कथित शराब घोटाले में आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सदस्य संजय सिंह की जमानत याचिका शुक्रवार को खारिज कर दी. राऊज एवेन्यू कोर्ट ने कहा कि PMLA के तहत दर्ज केस में जमानत देने से पहले कोर्ट को इस बात के लिए आश्वस्त होना पड़ता है कि आरोपी अपराध में शामिल नहीं रहा है. कोर्ट ने कहा कि संजय सिंह इस शर्त पर खरा नहीं उतरते हैं. कोर्ट ने कहा कि संजय सिंह की गिरफ्तारी या रिमांड पर भेजे जाने में कोई खामी नहीं पाई गई है. यह आदेश विशेष न्यायाधीश एम.के. नागपाल ने सुनाया। राउज एवेन्यू कोर्ट ने 12 दिसंबर को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था.कोर्ट ने कहा कि सबूतों से साफ है कि संजय सिंह के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का जो केस बनाया गया है, वो सही है. सबूतों से साफ है कि सीबीआई की ओर से दर्ज केस (अपराध से अर्जित आय) से वो जुड़े रहे है. लिहाजा मनी लॉन्ड्रिंग में उनकी भागीदारी बनती है. संजय सिंह की इस केस में गिरफ्तारी सही है.
संजय सिंह के वरिष्ठ अधिवक्ता मोहित माथुर ने पहले तर्क दिया था कि ईडी ने सिंह की गिरफ्तारी से पहले उनसे पूछताछ नहीं की थी. उन्होंने आरोपी से सरकारी गवाह बने दिनेश अरोड़ा और अन्य गवाहों के बयानों में विरोधाभास का भी हवाला दिया था. ईडी ने जांच का हवाला देते हुए जमानत याचिका का विरोध किया और चिंता व्यक्त की थी कि सिंह की रिहाई जांच में बाधा डाल सकती है, सबूतों के साथ छेड़छाड़ कर सकती है और गवाहों को प्रभावित कर सकती हैगुरुवार को अदालत ने मामले में आप नेता की न्यायिक हिरासत भी बढ़ा दी और ईडी को अपने पांचवें पूरक आरोप पत्र और संबंधित दस्तावेजों की एक प्रति उन्हें उपलब्ध कराने को कहा है. अदालत ने 19 दिसंबर को आरोपपत्र पर संज्ञान लिया था और गुरुवार के लिए सिंह का प्रोडक्शन वारंट जारी किया था.
क्या था संजय सिंह का दावा?
अपनी याचिका में सिंह ने दावा किया था कि उनके भागने का खतरा नहीं है और उनके खिलाफ गवाहों को प्रभावित करने का कोई आरोप नहीं है. उन्होंने अदालत से कहा था कि उन्हें जमानत दी जानी चाहिए क्योंकि ईडी या सीबीआई की जांच में हस्तक्षेप या प्रभावित करने का कोई आरोप नहीं है.
माथुर ने कहा था कि चूंकि सिंह के खिलाफ पूरक आरोप पत्र पहले ही दायर किया जा चुका है, इसलिए सबूतों को लेकर कोई खास काम बाकी नहीं है. माथुर ने दावा किया था कि उनकी गिरफ्तारी से पहले ईडी द्वारा दायर किसी भी पूरक आरोप पत्र में उनका नाम नहीं था. वित्तीय जांच एजेंसी ने 4 अक्टूबर को नॉर्थ एवेन्यू इलाके में उनके आवास पर तलाशी लेने के बाद संजय सिंह को गिरफ्तार कर लिया था.