छत्तीसगढ़दुर्ग भिलाई

नये संयुक्त संगठन सचिव की राह में भाजपा की गुटबाजी से निपटने की होगी चुनौती

आने वाले निकाय चुनाव में भुगतना पड़ सकता है खामियाजा
भिलाई । भारतीय जनता पार्टी द्वारा 31 दिसंबर को संगठनात्मक नियुक्ति करते हुए संयुक्त संगठन सचिव शिव प्रकाश को छत्तीसगढ़ की अहम जिम्मेदारी सौंपी गई है। पार्टी को फिर से प्रदेश में मजबूती प्रदान करने शिव प्रकाश की राह में भिलाई व दुर्ग जिला संगठन में व्याप्त गुटबाजी से निपटने की अहम चुनौती रहेगी। आपसी गुटबाजी के चलते प्राय: पेश आने वाले संगठन के इन दोनों जिलों के विवाद का निराकरण प्रदेश स्तर पर नहीं हो पाता है। इस स्थिति का खामियाजा फिर एक बार आसन्न निकाय चुनाव में पार्टी को भुगतना पड़ सकता है।
भाजपा के भिलाई व दुर्ग जिला संगठन में वर्चस्व को लेकर दिग्गज नेताओं के माध्यम से कार्यकर्ताओं के बीच बात-बात पर मची रहने वाली घमासान किसी से छिपी नहीं है। आपस की गुटबाजी के चलते भाजपा को लगातार नुकसान उठाना पड रहा है। सबसे अहम बात तो यह है कि जिला स्तर पर उपजे आपसी विवादों का निराकरण करने में पार्टी का प्रदेश संगठन बेबश नजर आता है। भिलाई-दुर्ग की प्राय: हर विवाद पर प्रदेश संगठन को राष्ट्रीय संगठन का मुंह ताकना पड़ता है। इसी वजह से भाजपा के अंदर खाने में भिलाई-दुर्ग को हास्यापद रुप से केन्द्र शासित संगठन जिले की संज्ञा दी जाती रही है। इस लिहाज से यह कहना गलत नहीं होगा कि प्रदेश भाजपा संगठन की कमान संभालने वाले शिव प्रकाश की राह में भिलाई व दुर्ग जिला को गटबाजी से मुक्त बनाना बेहद ही चुनौतीपूर्ण रहेगा।
आने वाले दिनों में भिलाई, रिसाली और चरोदा निगम सहित जामुल नगर पालिका में चुनाव होना है। इन चारों निकायों में ऐसा पहली बार होगा जब पार्षदो की बहुमत से महापौर व पालिका अध्यक्ष का चुनाव किया जाएगा। इस बदले हुए चुनाव प्रणाली से प्रदेश की सत्ताधारी कांग्रेस पार्टी को साल भर पहले ज्यादातर निकाय चुनाव में अच्छी सफलता हासिल हुई है। भिलाई, रिसाली, चरोदा निगम व जामुल पालिका के चुनाव में भी बेहतर प्रदर्शन के प्रति कांग्रेस पार्टी आशान्वित दिख रही है। दूसरी तरफ गुटबाजी के भंवर में फंसी भाजपा साल भर पहले दुर्ग नगर निगम सहित जिले के अन्य निकाय चुनाव में मिली पराजय से सबक लेती नहीं दिख रही है। ऐसे में इस संभावना से कतई इंकार नहीं किया जा सकता है कि निकाय चुनाव की घोषणा के बाद टिकट के लिए भाजपा में मचने वाली खींचतान से परिणाम नकारात्मक रह सकता है।
संयुक्त संगठन सचिव के रूप में शिव प्रकाश को छत्तीसगढ़ के साथ-साथ मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना और बंगाल राज्य भाजपा की जिम्मेदारी दी गई है। पूर्व में यह जिम्मेदारी सौदान सिंह संभाल रहे थे। शिव प्रकाश ने इससे पहले उत्तरप्रदेश, उत्तराखंड और बंगाल में पार्टी को बेहतर मुकाम दिलाने में अहम किरदार निभाया है। अब जब उन्हें छत्तीसगढ़ का दायित्व मिला है तो उम्मीद की जा रही है कि छत्तीसगढ़ में फिर से भाजपा को मजबूती दिलाने में सफल रहेंगे। हालांकि इसमें चुनौतियां अनेक है, लेकिन खास चुनौती उनके लिए भिलाई-दुर्ग जिला संगठन में एकता स्थापित करने की रहेगी।
यह इस लिहाज से भी महत्वपूर्ण है कि भिलाई-दुर्ग, प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू और पीएचई मंत्री गुरु रुद्रकुमार सहित विधायक अरुण वोरा व देवेन्द्र यादव की कर्मस्थली के चलते कांग्रेस पार्टी का मजबूत गढ़ बन चुका है।

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