छत्तीसगढ़

कवर्धा में पहली बार तीन संगठनों की हड़ताल से दिनभर रही गहमागहमी

शहर में लंबे अर्से के बाद एक ही दिन तीन बड़ा प्रदर्शन हुआ है। पहला आंदोलन पटवारियों का है, जो अपनी मांगों को लेकर 14 दिसंबर से हड़ताल पर बैठे हुए हैं। दूसरा प्रदर्शन पंचायत सचिव का है, जो नियमित करने की मांग कर रहे हैं। इसके साथ ही केंद्रीय कृषि बिल का भारतीय किसान संघ ने संसोधन की मांग करते हुए कवर्धा तहसीलदार मनोज रावटे का ज्ञापन सौंपा है। ये तीनों आंदोलन शांतिपूर्ण रहा है। केंद्र सरकार के कृषि कानून को लेकर भारतीय किसान संघ ने देश के 20 हजार गांव के किसानों से मिले सुझाव को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भेजा था। इसके साथ ही देश के चार सौ सांसदों से मुलाकात करके कृषि बिल में सुधार का ज्ञापन सौंपा था। भारतीय किसान संघ के नेताओं ने बताया कि संघ ने कृषि कानून में एमएसपी के कानूनी प्रावधान की मांग की है। एमएसपी से नीचे किसान का उत्पाद नहीं बिके और एमएसपी का कानूनन प्रावधान हो। व्यापारी जो व्यवसाय करना चाहता है, उसका केंद्र एवं राज्य में पंजीयन हो व बैंक में सिक्योरिटी हो। ऐसे सभी व्यवसाइयों की सूची पोर्टल पर दर्ज हो, जिसे देखकर किसान अधिकृत व्यापारी को अपना माल बेच सके।

कृषि न्यायालय के गठन की मांग

भारतीय किसान संघ के पदाधिकारी गुरुवार को दोपहर के समय कलेक्टोरेट पहुंचे हुए थे। इस दौरान कलेक्टोरेट के सामने नारेबाजी की। इसके बाद संघ ने शांतिपूर्ण तरीके से ज्ञापन सौंपा। साथ ही मांग की गई कि कृषि न्यायालय का गठन प्रत्येक जिले में किया जाए, जिसमें किसानों से संबंधित सभी प्रकार के विवादों का शीघ्रता से निर्णय हो। जीवन आवश्यक वस्तुओं के भंडारण की छूट बड़े उद्योगों को दी गई है, जिसके कारण जमाखोरी होकर उपभोक्ताओं के हितों में बाधा पहुंच सकती है। ऐसे में उद्योगों को दी गई इस प्रकार की छूट समाप्त होनी चाहिए। चंद्रवंशी ने कहा कि संविदा खेती (कांट्रेक्ट फार्मिंग) करने वाली कंपनी को किसान का दर्जा नहीं दिया जाए एवं अनुबंध के बाद हर परिस्थिति में किसान का उत्पाद खरीदने के लिए बाध्य किया जाए।

पंचायत सचिवों ने निकाली रैली

प्रदेश पंचायत सचिव संघ के आह्वान पर जनपद पंचायत पंचायत सचिव संघ बोड़ला द्वारा अपनी लंबित मांगों को लेकर गुरुवार को जनपद पंचायत बोड;ला के सामने एक दिवसीय धरना दिया। साथ ही रैली निकालकर मुख्यमंत्री व मुख्य सचिव के नाम तहसीलदार व मुख्य कार्यपालन अधिकारी बोड़ला को ज्ञापन सौंपा। आपको बता दें कि ग्राम पंचायत सचिव संघ द्वारा कवर्धा जिले सहित पूरे छत्तीसगढ़ में अपनी मांगों को लेकर 24 दिसंबर गुरुवार को ब्लाक मुख्यालय में एक दिवसीय धरना व रैली निकालकर मुख्यमंत्री एवं मुख्य सचिव के नाम ज्ञापन सौंपा गया। ज्ञात हो कि 26 दिसंबर तक उनकी मांगे पूरी नहीं होती तो 26 दिसंबर से अनिश्चितकालीन काम बंद कलम बंद हड़ताल करने की चेतावनी शासन प्रशासन को दी है। इस अवसर पर शंकर अनंत ब्लाक अध्यक्ष, ओमकार साहू, घनश्याम तिलकवार,जगेसर मरकाम उपाध्यक्ष, चंद्रशेखर जायसवाल सचिव, बैजनाथ चंद्रवंशी मीडिया प्रभारी, कार्यकारिणी सदस्य सहित बड़ी संख्या में पंचायत सचिव उपस्थित रहे

सुविधा के अभाव को लेकर पटवारी कर रहे हड़ताल

राजस्व पटवारी संघ के अध्यक्ष गेंदूराम ने बताया कि किसी भी पटवारी के पास, कंप्यूटर, लैपटाप, प्रिंटर की सुविधा नहीं है। जबकि राजस्व विभाग अपने कामों को डिजिटल करने पर जोर दे रहा है। ऐसे में काम करने में हमें काफी परेशानी हो रही है। इन बातों से कई बार राजस्व मंत्री और विभाग के आला अफसरों को सूचित किया जा चुका है। प्रदेश के पटवारी चाहते हैं कि वरिष्ठता के आधार पर पटवारियों को राजस्व निरीक्षक के पद पर पदोन्नत किया जाए, विभागीय जांच के बिना किसी भी पटवारी पर एफआईआर दर्ज ना हो समेत अन्य मांग शामिल है।साथ ही पटवारियों ने महंगाई और स्टेश्नरी के लिए कुल दो हजार रुपए हर महीने भत्ते के तौर पर दिए जाने की मांग की है। इसके साथ ही कबीरधाम जिले के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में पटवारियों को भी नक्सल भत्ता देने, मुख्यालय निवास की बाध्यता समाप्त हो, अतिरिक्त हलके के प्रभार के लिए पटवारियों के मूल वेतन का 50 प्रतिशत राशि भत्ते के रूप में देने और वेतन विसंगतियों को दूर करने की मांग की गई है। यहां बताना लाजमी है कि जिले के कई वनांचल क्षेत्र नक्सल प्रभावित क्षेत्र में आता है।

 

 

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