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Lockdown: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने भी उठाई मंदिरों को खोलने की मांग | Lockdown: Akhil Bhartiya Akhara Parishad also raised demand to open temples | allahabad – News in Hindi

Lockdown: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने भी उठाई मंदिरों को खोलने की मांग

महंत नरेंद्र गिरी (फाइल फोटो)

महंत नरेन्द्र गिरी (Mahant Narendra Giri Maharaj) ने कहा है कि सरकार यदि मंदिर खोलने की अनुमति देती है तो कोरोना (COVID-19) के संक्रमण से बचाव के लिए मंदिर प्रबंधन सभी नियमों और प्रोटाकॉल का भी पालन करेंगे.

प्रयागराज. कोरोना की वैश्विक महामारी (Pandemic Coronavirus)को लेकर किए गए लॉकडाउन (Lockdown) में शराब की दुकानें खोले जाने के बाद अब मंदिरों को भी आम श्रद्धालुओं के लिए खोले जाने की मांग उठने लगी है. हरिद्वार के धर्माचार्यों और काशी विद्त परिषद के बाद अब साधु-संतों की सर्वोच्च संस्था अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद (Akhil Bharatiya Akhara Parishad) ने भी लॉकडाउन में मंदिर श्रद्धालुओं के लिए खोले जाने की मांग की है. अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरी (Mahant Narendra Giri Maharajने कहा है कि सरकार ने शराब की दुकानें खोली हैं तो आखिर देवालयों के दरवाजे श्रद्धालुओं के लिए अब तक क्यों रखे गए हैं. उन्होंने योगी सरकार से सोशल डिस्टैंसिंग का पालन करते हुए सभी छोटे-बड़े मंदिरों के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोले जाने की मांग की है.

मंदिरों को भी खोले जाने की अनुमति दे
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरी ने कहा है कि मंदिर खोले जाने की मांग को लेकर अखाड़ा परिषद के महामंत्री और पंच दशनाम जून अखाड़े के संरक्षक महंत हरि गिरि के बातचीत के बाद देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को एक पत्र भी लिखेंगे. महंत नरेन्द्र गिरी ने कहा है कि कोरोना को लेकर पिछले डेढ़ माह से लॉकडाउन है और लगभग दो माह से मंदिरों के कपाट बंद हैं. ऐसे में मंदिरों में पुजारियों और अन्य कर्मचारियों के वेतन देने में भी बहुत कठिनाई आ रही है. महंत नरेन्द्र गिरी ने कहा है कि जब राजस्व के लिए सरकार शराब की दुकानें खोले जाने की अनुमति दे सकती है, तो उसे दूसरी दुकानें और मंदिरों को भी खोले जाने की अनुमति दे देनी चाहिए. ताकि लोगों की रोजी-रोटी भी चलती रहे.

महंत नरेन्द्र गिरी ने कहा है कि सरकार यदि मंदिर खोलने की अनुमति देती है तो कोरोना के संक्रमण से बचाव के लिए मंदिर प्रबंधन सभी नियमों और प्रोटाकॉल का भी पालन करेंगे. उन्होंने कहा कि मंदिर खुलने से लोग यदि मंदिर में दर्शनों को जायेंगे तो अपने आराध्य से कोरोना को खत्म करने की प्रार्थना भी करेंगे. उन्होंने कहा है कि सनातन परम्परा में लोगों का ऐसा विश्वास है कि वे आराधना करेंगे तो उनके कष्ट दूर होंगे. लेकिन मंदिर बंद होने से लोग अपने आराध्य से प्रार्थना भी नहीं कर पा रहे हैं. महंत नरेन्द्र गिरी ने कहा है कि सरकार को मंदिर खोलने पर जल्द विचार करना चाहिए और मठ मंदिरों के प्रबंधकों और पुजारियों की भी जिम्मेदारी होगी कि मंदिर खुलने पर वे सोशल डिस्टैंसिंग का श्रद्धालुओं से सख्ती से पालन करायें.वहीं अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि ने मशहूर शायर मुनव्वर राणा की उस मांग को गलत बताया है, जिसमें उन्होंने मांस की दुकानों को खोले जाने की मांग उठाई है. उनका कहना है कि मुनव्वर राणा का समूचा देश सम्मान करता है, लेकिन उन्होंने इस वक्त जो मांग उठाई है, वह कतई जायज़ नहीं है. महंत नरेन्द्र गिरि ने कहा है कि शराब की दुकानों को खोले जाने का फैसला ही गलत है. लेकिन लॉकडाउन में मांस की बिक्री से और गलत संदेश जाएगा. उनके मुताबिक़ सभी को अपनी पसंद का भोजन करने का अधिकार है, लेकिन मांस बिक्री से कई तरह के संक्रमण फैलने और गंदगी पैदा होने का खतरा रहता है, इसलिए कुछ दिनों के लिए मांस बिक्री न करना ही ज़्यादा उचित होगा.

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First published: May 6, 2020, 9:31 PM IST



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