अर्थव्यवस्था को पटरी पर लौटने में लगेगा एक साल से भी अधिक समय, लॉकडाउन से पड़ा बुरा असर: सर्वे – Economic recovery may take more than a year due to lockdown says CII poll | business – News in Hindi


लॉकडाउन ने इकोनॉमिक एक्टिविटी को बुरी तरह से प्रभावित किया है.
इस सर्वे में 300 से अधिक मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (CEO) की राय ली गई. इनमें से 66 प्रतिशत से अधिक CEO सूक्ष्म, लघु और मझोले उपक्रम (MSME) क्षेत्र के है. सर्वे के नतीजों से निष्कर्ष निकालता है कि देश की अर्थव्यवस्था में सुस्ती लंबी रहने वाली है.
सर्वे के नतीजों से निष्कर्ष निकालता है कि देश की अर्थव्यवस्था में सुस्ती लंबी रहने वाली है. सर्वे में शामिल 45 प्रतिशत सीईओ ने कहा कि लॉकडाउन हटने के बाद अर्थव्यवस्था को सामान्य स्थिति में लाने के लिए एक साल से अधिक का समय लगेगा.
कर्मचारियों की नौकरी पर खतरा
इस सर्वे में 300 से अधिक मुख्य कार्यकारी अधिकारियों की राय ली गई. इनमें से 66 प्रतिशत से अधिक सीईओ सूक्ष्म, लघु और मझोले उपक्रम (MSME) क्षेत्र के है. जहां तक करियर और आजीविका का सवाल है, आधी से ज्यादा कंपनियों का मानना है कि लॉकडाउन हटने के बाद उनके संबंधित क्षेत्रों में कर्मचारियों की छंटनी होगी. करीब 45 प्रतिशत ने कहा कि 15 से 30 प्रतिशत कर्मचारियों को नौकरी गंवानी पड़ेगी.यह भी पढ़ें: लॉकडाउन- नौकरी जाने की टेंशन जाएं भूल!घर बैठे इस बिजनेस से करें लाखों में कमाई
दो तिहाई कंपनियों ने नहीं की वेतन में कटौती
सर्वे में शामिल 66 प्रतिशत यानी दो-तिहाई लोगों का कहना था कि अभी तक उनकी कंपनी में वेतन-मजदूरी में कटौती नहीं हुई है. उल्लेखनीय है कि कोरोना वायरस पर काबू के लिए देश में 25 मार्च से राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन है. पिछले दिनों सरकार ने बंद को बढ़ाकर 17 मई तक कर दिया है.सीआईआई ने कहा कि बंद से आर्थिक गतिविधियों पर गंभीर असर पड़ा है.
40 फीसदी तक घटेगी कंपनियों की आमदनी
पूरे वित्त वर्ष 2020-21 की बात की जाए, तो सर्वे में शामिल 33 प्रतिशत कंपनियों की राय है कि पूरे साल में उनकी आमदनी में 40 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आएगी. 32 प्रतिशत कंपनियों ने कहा कि उनकी आय में 20 से 40 प्रतिशत की कमी आएगी.
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मांग में कमी बनेगी समस्या
सर्वे में शामिल चार में से तीन कंपनियों का कहना था कि परिचालन पूरी तरह बंद होना उनके लिए सबसे बड़ी बाधा है. वहीं 50 प्रतिशत से अधिक कंपनियों ने कहा कि उत्पादों की मांग में कमी कारोबारी गतिविधियों के लिए सबसे बड़ी चुनौती है.
सीआईआई के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने कहा, ‘‘कोरोना वायरस पर काबू के लिए लॉकडाउन जरूरी है. लेकिन इससे आर्थिक गतिविधियां प्रभावित हुई हैं. आज समय की मांग है कि उद्योग को प्रोत्साहन पैकेज दिया जाए, जिससे आर्थिक गतिविधियों को आगे बढ़ाया जा सके और आजीविका को बचाया जा सके.’’ बनर्जी ने कहा कि इसके अलावा लॉकडाउन से सोच-विचार कर बाहर निकलने की तैयारी करनी चाहिए.
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First published: May 3, 2020, 3:52 PM IST