देश दुनिया

इतने साल बाद Ratan Tata ने बताई अपने दिल की बात, इंजिनियर नहीं बल्कि ये बनना चाहते थे टाटा – Ratan Tata wanted to be an architect as the profession motivated him Coronavirus Outbreak In Mumbai Slums Like Dharavi | business – News in Hindi

इतने साल बाद Ratan Tata ने बताई अपने दिल की बात, इंजिनियर नहीं बल्कि ये बनना चाहते थे

रतन टाटा ग्रुप

रतन टाटा ने एक सेमीनार में बताई अपने दिल की बात. रतन टाटा ने बताया कि वो कभी भी इंजीनियर नहीं बनना चाहते थे. वास्तुकार नहीं बन पाने का उन्हें आज भी मलाल है.

नई दिल्ली. रतन टाटा, टाटा ग्रुप के सबसे वरिष्ठ पदाधिकारियों में से एक ने सेमीनार में बताई अपने दिल की बात. रतन टाटा ने बताया कि वो कभी भी इंजीनियर नहीं बनना चाहते थे. उन्होंने कहा कि वो तो असल में एक वास्तुकार (Architect) बनने में रुचि रखते थे. वास्तुकार नहीं बन पाने का उन्हें आज भी मलाल है. भविष्य के डिजाइन और निर्माण विषय पर हुई इस चर्चा के दौरान रतन टाटा ने कहा कि कोरोना वायरस के कहर ने शहर में आवास के संकट को उजागर किया है. मुंबई के लाखों लोग ताजी हवा और खुली जगह से महरूम हैं. बिल्डरों ने ऐसे स्लम बना दिए हैं, जहां सफाई का इंतजाम नहीं है. हम वहां उच्च कोटि के आवास डिजाइन करते हैं जहां कभी झुग्गी-झोपड़ियां थीं. ये स्लम विकास के अवशेष की तरह हैं. हमें शर्म आनी चाहिए क्योंकि एक तरफ तो हम अपनी अच्छी छवि दिखाना चाहते हैं दूसरी ओर एक हिस्सा ऐसा है जिसे हम छिपाना चाहते हैं.

ये भी पढ़ें:- हाइवे पर कहां खुले हैं ढाबे और ट्रक मरम्मत की दुकानें, यहां देखें पूरी लिस्ट

धारावी में सबसे ज्यादा कोरोना संकट फैलने का डर 
ढाई वर्ग किलोमीटर का इलाका और 8-9 लाख लोग. हालात का अंदाजा लगाइए. आबादी की ऐसी बेतहाशा बसावट जो दुनिया में चंद जगहों पर ही होगी. मुंबई के केंद्र में बसे स्लम एरिया धारावी कोरोना संकट से जूझ रहा है. एक्सपर्ट्स को यहां सबसे ज्यादा संक्रमण फैलने का डर है. मशहूर उद्योगपति रतन टाटा ने झुग्गी-झोपड़ियों की बढ़ती संख्या के लिए हाउसिंग नीतियों पर सवाल उठाते हुए चेत जाने की नसीहत दी है.कोरोना का संकट हमें अब भी चेतावनी दे रहा है-टाटा
रतन टाटा ने कहा कि जब लोग इसकी आलोचना करते हैं तो हम नाराज हो जाते हैं. लेकिन एक आर्किटेक्ट और बिल्डर के रूप में सामाजिक जिम्मेदारी भी है. कोरोना का संकट हमें अब भी चेतावनी दे रहा है. मेरी चिंता यह है कि अब यह हमें चारों ओर से घेर चुका है और हमला कर रहा है.

ये भी पढ़ें:- 

पोस्ट ऑफिस की ये स्कीम बैंक एफडी से है बेहतर, 5 लाख बन जाएंगे 6.69 लाख रुपये

लॉकडाउन में PM-Kisan के तहत मोदी सरकार ने किसानों को बांटे 17793 करोड़ रुपये

हाइवे पर कहां खुले हैं ढाबे और ट्रक मरम्मत की दुकानें, यहां देखें पूरी लिस्ट 

News18 Hindi पर सबसे पहले Hindi News पढ़ने के लिए हमें यूट्यूब, फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें. देखिए मनी से जुड़ी लेटेस्ट खबरें.


First published: April 21, 2020, 4:20 PM IST



Source link

Related Articles

Back to top button