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ड्यूटी नही करने बहाना बनाने वाले जिला अस्पातल के दो डॉक्टरों को नोटिस जारी

स्वास्थ्य संचालनालय को शिकायत करने की बात कहने पर ड्यटी पर आये चिकित्सक
भिलाई। कोरोना वायरस को लेकर पूरे देश में लॉकडाउन है। इस अवधि में केवल इमरजेंसी सेवाओं को चालू रखा गया है। ऐसे अपादा के समय में सेवा देने वाले जिला अस्पताल के कई चिकित्सा अधिकारी ड्यूटी करने से बचने के लिए बहानाबाजी कर रहे हैं।
शासन के सख्त आदेश के बाद कोरोना के संभावितों का डोर टू डोर सैंपल लेने के लिए सैंपल लेने के लिए चार टीम बनाई गई है। शनिवार को दो टीम के डॉक्टर बिना सूचना के नदारद रहे। तीन घंटे विलंब से तब आए जब सिविल सर्जन ने उनको शासन के आदेश का हवाला दिया और कलेक्टर और स्वास्थ्य संचालनालय को इसकी जानकारी देने की बात कही। सिविल सर्जन ने इसे लापरवाही मानते हुए दोनों डॉक्टरों को कारण बताओ नोटिस भी जारी किया है।
रोटेशन के हिसाब से डॉ. लव पाण्डेय व डा. उपासना पाण्डेय की ड्यूटी लगाई थी। दो एम्बुलेंस में टेक्निशियन व वार्ड ब्वाय किट लेकर डॉक्टरों का घंटों इंतजार करते रहे। वे बिना सूचना के नदारद थे। कॉल करने पर जिला अस्पताल के अधिकारियों को दो टूक सुना दिया कि उन्हें कोरोना ड्यूटी नहीं करना है। जानकारी के मुताबिक टीम में चिकित्सकों की उपस्थिति अनिवार्य है। इसके बाद भी डॉक्टर समय पर नहीं पहुंचे। बाद में शासन के आदेश का हवाला देने और कलेक्टर को जानकारी भेजे जाने की बात कहने पर दोनों डॉक्टर आनन फानन जिला अस्पताल पहुंचे और 3 घंटे विलंब से सैंपल कलेक्ट करने रवाना हुए। दोनों डॉक्टरों का कहना है कि उनकी ड्यूटी जबरदस्ती लगाई है। इस लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए जिला अस्पताल प्रशासन ने दोनों डॉक्टर को कारण बताओ नोटिस थमाया है और टीम के निधारित समय पर रवाना नहीं होने की जानकारी कलेक्टर के माध्यम से संचालक स्वास्थ्य सेवाएं को भेज दी है। जिला अस्पताल के अधिकारियों का कहना है कि वे अपने विभाग के अधिकारी व कर्मचारियों की सुरक्षा का पूरा ध्यान रख रहे है। इसके लिए एम्स रायपुर से कोरोना में सेवाएं देने वाले कर्मचारियों की सुरक्षा एंव सावधानी, नियमावली विशेषतौर पर मंगाया गया है। एम्स के इस गाइडलाइन में स्पष्ट उल्लेख है कि टीम में किस स्तर का डॉक्टर होगा, वह कौन सा किट पहनेगा अथवा नहीं, सैंपल लेने वाले टेक्निशियन को क्या पहनना है उसे किस तरह का किट उपयोग करना है। सिविल सर्जन डॉ. बी बाल किशोर ने बताया कि कुछ डॉक्टर ड्यूटी का विरोध कर रहे है। हम रोटेशन के हिसाब से ड्यूटी लगा रहे हैं। एक डॉक्टर पर बोझ नहीं दे रहे हैं। इसके बाद भी लापरवाही करने वालों की सूची हम कलेक्टर के माध्यम से संचालनालय को भेज रहे हैं।

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