मैथोडिस्ट चर्च में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया क्रिसमस का त्योहार
बोरगांव/फरसगांव । जिले भर में मंगलवार की रात क्रिसमस का त्योहार बड़े ही उल्लास और उमंग के साथ धूमधाम से मनाया गया। इसाई समुदाय के लोग इसे बड़े दिन के रूप में मनाते है। इसी कड़ी में फरसगांव नगर के मेथोडिस्ट चर्च में पहली बार ईसाई समुदाय के लोगों ने एक साथ मिलकर अपनी परंपराओं एवं रीति-रिवाज के साथ बड़ी श्रद्घा, आस्था और निष्ठापूर्वक क्रिसमस का त्यौहार मनाया।
चर्च के लोकल प्रिचर प्रवीण राव ने बताया कि त्योहार मनाने का क्रम दो दिन पूर्व से ही आरंभ हो जाता है इस क्रम में दो दिन पूर्व समाज के सभी लोग एक दूसरे के घरों पर जाकर प्रभु यीशु के जन्मदिन की सु-समाचार को गीतों के माध्यम से गाकर सुनाते हैं जिसे कैरोल सिंगिंग कहा जाता है। इसके पश्चात 24 तारीख को चर्च के मंच में प्रभु यीशु के जन्म को नाटक के माध्यम से दिखाया गया।
इससे पहले मंगलवार की मध्य रात्रि घड़ी की सूई जैसे ही 12 पर पहुंची सभी चर्चों में घंटियां बजने लगी। इसी के साथ प्रभू यीशु का जन्मोत्सव समारोह कार्यक्रम प्रारंभ हो गया। प्रभू यीशु की जयकार के साथ मसीही समुदाय के लोगों ने एक-दूसरे को क्रिसमस की बधाईयां दी।
25 दिसंबर को सभी विश्वासी प्रातः से ही चर्च पर मुख्य अराधना हेतु एकत्रित हुए चर्च के पादरी रेव्ह फ्रेडरिक सोमा ने आज की आराधना का संचालन किया और बताया कि क्रिसमस-डे को ईसा मसीह के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है। यह पर्व मनुष्य जाति को पापो से मुक्ति दिलाने के लिए लोगों में प्यार, भाईचारा स्थापित करने के लिए मनाया जाता है उन्होंने देश व ग्राम में भाईचारे एवं शांति तथा प्रेम बनाए रखने हेतु प्रभु से प्रार्थना किए साथ में यह भी बताया कि प्रभु यीशु मसीह स्वयं ज्योति एवं प्रेम का प्रतीक है और हमें भी उनके बताए मार्ग पर चलना है। उत्सव के अंत में समाज के बुजुर्गों का सम्मान करके उत्सव का समापन किया गया।
इस अवसर पर चर्च में समाज के सभी विश्वासी पुरुष महिला एवं बच्चे बड़ी संख्या में मौजूद रहे।