बीएसपी अस्पताल के नेफ्रोलॉजी विभाग के समर्पण से सैकड़ों मरीजों को मिला जीवनदान, Dedication of Nephrology Department of BSP Hospital gave life to hundreds of patients

कोरोना से जीवन बचाने की निरन्तर जद्दोजहद में आज मेडिकल बिरादरी दिन-रात काम कर रही है। कोविड के बढ़ते प्रकोप ने अस्पतालों पर बेहद दबाव बना दिया है। आज कई अस्पतालों ने कोविड को छोड़कर अन्य मरीजों को देखना बंद कर दिया है। परन्तु सेल-भिलाई इस्पात संयंत्र के मुख्य चिकित्सालय जेएलएन अस्पताल में कोविड मरीजों के इलाज करने के साथ ही इस अस्पताल के अन्य विभागों ने दूसरी बीमारियों से ग्रसित मरीजों के जीवन बचाने हेतु निरन्तर कार्य कर रहे हैं। जेएलएन अस्पताल का ऐसे ही एक समर्पित विभाग है नेफ्रोलॉजी अर्थात किडनी रोग विभाग, जो मरीजों का जीवन बचाने हेतु इस कोविड संकट में भी लगातार डायलिसिस कर लोगों का जीवन बचा रहा है।
डायलिसिस की जरूरत क्यों
किडनी हमारे शरीर का महत्वपूर्ण अंग है जो जमा पानी को फिल्टर कर पेशाब के माध्यम से अधिक पानी को शरीर से बाहर निकालता है। इसके अलावा खनिजों को अवशोषण करने में मदद करता है। यदि किडनी सही से कार्य नहीं कर पा रहा है तो शरीर से अपशिष्ट पदार्थ जमा होने लगता है जो शरीर के लिए हानिकारक होता है। ऐसे में अधिक पानी को बाहर निकालने के लिए डायलिसिस करवाना पड़ता है। आपको बता दे कि, गुर्दे की विफलता के लिए यह एक उपचार है जो आपके रक्त को फिल्टर करके अवांछित विषाक्त पदार्थों, अपशिष्टों और अतिरिक्त तरल पदार्थ को आपके शरीर से बाहर निकालता है। यह खून को शुद्ध करने का काम करता है। डायलिसिस लोगों को लंबे समय तक जीने में मदद करता है। वर्तमान में बीएसपी अस्पताल में हीमोडायालिसिस के माध्यम से डायलिसिस किया जाता है। डायलिसिस से बचायी जान कोविड के इस संकटकाल में भी जेएलएन अस्पताल के नेफ्रोलॉजी विभाग के विशेषज्ञ चिकित्सक डॉ संतोष नशीने व पैरा-मेडिकल स्टाफ की टीम ने अपनी प्रतिबद्धता व समर्पण दिखाते हुए लोगों की जान बचाने हेतु निरन्तर डायलिसिस जारी रखा। इस टीम के कई सदस्य कोरोना पॉजीटिव होने के बाद भी अन्य सदस्यों ने आगे आकर इस दायित्व का बखूबी निवर्हन किया। कोविड भी इस टीम का मनोबल नहीं गिरा सका। इस टीम ने सिर्फ अप्रेल, 2021 में 218 डायलिसिस को सफलतापूर्वक अंजाम दिया। जिसमें कई गंभीर मरीज भी शामिल थे जिन्हें अगर समय पर डायलिसिस नहीं मिलता तो उनकी स्थिति बेहद गंभीर हो सकती थी। इसके अतिरिक्त इस टीम ने जोखिम उठाते हुए कई कोविड मरीजों की भी डायलिसिस की। समर्पित टीम के सदस्य ईडी(एम एंड एचएस) डॉ एस के इस्सर, सीएमओ द्वय डॉ प्रमोद बिनायके व डॉ रविन्द्रनाथ के मार्गदर्शन तथा जेएलएन अस्पताल के नेफ्रोलॉजी विभाग के विशेषज्ञ डॉ संतोष नशीने के नेतृत्व में नेफ्रोलॉजी की टीम निरंतर डायलिसिस कर लोगों का जीवन बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। इस समर्पित टीम के सदस्य डॉ संतोष नशीने, श्रीमति प्रिस्किल्ला साहनी, सुश्री विजयलक्ष्मी चेट्टी, श्रीमति रूबी रॉय, श्रीमति नंदिनी भूसाखरे, सुश्री स्वीटी दास, श्रीमति नीलावती, श्री पी विवेक एवं संतोष कुमार।