मुंगेली

शिक्षा, साहित्य व समाज सेवा मे समर्पित डाक्टर सत्यनारायण तिवारी

लोरमी-मानस ग्राम सारधा मे कौशिल्या पंडित चन्दूलाल तिवारी के घर द्वितीय पुत्र के रूप मे जन्मे शिक्षाविद, साहित्यकार, कथावाचक व समाज सेवक के रूप मे विख्यात डाक्टर सत्यनारायण तिवारी हिमान्शु महाराज आज गुदड़ी के लाल की भूमिका मे है।प्रदेश व देश मे जिनका नाम ही लोरमी, मुंगेली तथा छत्तीसगढ के परिचय का पर्याय बन गया है।12-10-1970को लोरमी की धरा पर जिनका जन्म ही समाज सेवा के लिए हुआ है।जिन्होने लोरमी अंचल के अभ्यारण्य के बीच बिन्दावल से अपने शिक्षकीय जीवन की प्रारंभ की। कोटा विकासखंड के अमने ,खपराखोल मे लगभग आठ वर्ष तथा लोरमी विकासखंड के डिण्डौरी करीब सत्रह वर्षो की शिक्षकीय सेवा के उपरांत जिस विद्यालय से उन्होने मिडिल स्कूल की शिक्षा प्राप्त की उसी विद्यालय सारधा मे वर्तमान मे शिक्षक के रूप मे सेवारत है।अपने ग्राम के साथ साथ विद्यालय विकास की उनकी पीड़ा उनके अल्पावधि की सेवा मे दिखाई पड रही है।जिसके तहत उन्होने जिलापंचायत अध्यक्ष श्रीमती लेखनी सोनू चन्द्राकर से नवीन प्रवेश द्वार हेतु एक लाख रुपए की स्वीकृत कराए।जनपद उपाध्यक्ष श्रीमती खुशबूआदित्य वैष्णव से सीसी रोड व अहाता निर्माण की चर्चा की।शाला का हाईस्कूल के रूप मे उन्नयन, जर्जर शाला भवन के जीर्णोद्धार ,मैदान का समतलीकरण, पानी निकासी व नाली निर्माण हेतु पहल की गयी।शत प्रतिशत नामांकन हेतु शिक्षको के साथ मिलकर जन सम्पर्क कर प्रयास जारी है।डाक्टर तिवारी अपने शिक्षकीय जीवन के पच्चीस वर्षो मे विद्यालय, संकुल, डाक्टर पेण्ड्रा तथा राज्य सरकार द्वारा अनेक बार सम्मानित करने के साथ ही सन्2017मे मुख्यमंत्री गौरव अलंकरण ज्ञानदीप पुरस्कार से सम्मानित किया जा चूका है।गत वर्ष 05सितम्बर को जिलापंचायत अध्यक्ष श्रीमती लेखनी सोनू चन्द्राकर व जिला कलेक्टर राहुल देव जी द्वारा उत्कृष्ट शिक्षक के रूप मे इन्हे सम्मान प्राप्त हुआ है।इसी प्रकार समाज सेवा, साहित्यकार व कथाकार के रूप मे पाच -पाच बार छत्तीसगढ राजभाषा आयोग रायपुर से सम्मान सिद्ध शक्तिपीठ मा महामाया, मा भुवनेश्वरी मंदिर डोंगरीगढ से डाक्टर तिवारी सम्मानित हो चूके है ।शासकीय, अशासकीय, साहित्यिक, सामाजिक सम्मानो की लंबी शृंखला है।शताधिक सम्मान प्राप्ति के बावजूद सहजता व सरलता से समाज के नवनिर्माण मे इनकी साधना अनवरत जारी है।इन्ही कारणो से लोरमी के सभी विधायको राजेन्द्र प्रसाद शुक्ल, फूलचन्द जैन, बैजनाथ चन्द्राकर, ठाकुर भूपेंद्र सिह, निरंजन प्रसाद केशरवानी, मुनीराम साहू, तोखन साहू व वर्तमान विधायक ठाकुर धर्मजीत सिंह जी द्वारा भी इनको सम्मानित किया जा चूका है।डाक्टर तिवारी की समाज सेवा ने इन्हे बिलासपुर संभाग के कमिश्नर सोनणि वोरा,टी सी महावर डाक्टर संजय अलंग मुगेली कलेक्टर किरण कौशल,पी एस एल्मा ,अजीत बसंत व श्री राहुल देव जी से भी सम्मानित होने का गौरव प्रदान किया है।मुख्यमंत्री डाक्टर रमन सिंह, विधानसभाध्यक्ष द्वय राजेन्द्र प्रसाद शुक्ल धरमलाल कौशिक, शिक्षामंत्री बृजमोहन अग्रवाल,खाद्य आपूर्ति मंत्री द्वय सत्यानंद राठिया,पुन्नुलाल मोहले सान्सद अरूण साव,लखन लाल साहू,संसदीय सचिव द्वय छतराम देवांगन, तोखन साहू,गोसेवा आयोग के अध्यक्ष द्वय पवन दीवान,महंत रामसुन्दर दास,छत्तीसगढ राजभाषा आयोग अध्यक्ष त्रय पंडित श्याम लाल चतुर्वेदी, दानेश्वर शर्मा डाक्टर विनय कुमार पाठक ,समन्वय साहित्य परिषद, बिलासा कला मंच,आगर साहित्य समिति, छत्तीसगढ हिन्दी साहित्य परिषद, मनियारी साहित्य समिति सहित अनेक संगठनो द्वारा डाक्टर तिवारी सम्मान प्राप्त कर चूके है।शिक्षा की साधना को पूरा करते हुए छत्तीसगढ के साथ साथ अमरकंटक, वृन्दावन, जगन्नाथ पुरी,और चित्रकुट जैसे भारत वर्ष के प्रसिद्ध स्थलो श्रीमद्भागवत व श्रीराम कथा की गंगा प्रवाहित करते रहते है।वर्तमान मे मनियारी साहित्य एवम सेवा समिति लोरमी के सचिव, हिन्दी प्रेरणा प्रचारिणी सभा छत्तीसगढ के प्रान्तीय संयोजक, अखिल भारतीय मानस प्रचार समिति व सनातन धर्म प्रचार समिति के अध्यक्ष के साथ-साथ विभिन्न सामाजिक ,सांस्कृतिक, साहित्यिक से जूडकर समाज सेवा मे रत लाखो लोगो के प्रेरणास्रोत बने हुए है।डाक्टर तिवारी द्वारा विगत बीस वर्षो बिना शुल्क के चलायी जा रही योजना “वृक्षारोपण और पुस्तक दान”पूरे प्रदेश मे जनजागरण का कार्य कर रही है।बिना किसी विज्ञापन अथवा प्रदर्शन के प्रदेश के विभिन्न स्थानो करीब दो लाख से अधिक वृक्षारोपण कार्य करने पर इन्हे “पर्यावरण मित्र सम्मान, डिण्डौरी रत्न सम्मान, साहित्य सृजन पीठ सम्मान तथा उत्कृष्ट शिक्षक के रूप मे विभिन्न संगठनो ने सम्मानित किया है। लोरमी,मुगेली छत्तीसगढ व भारतवर्ष के विविध क्षेत्रो के विकास हेतु डाक्टर तिवारी द्वारा लिखे गए गद्य पद्य लेख विभिन्न पत्र पत्रिकाओ व समाचार पत्रो मे प्रकाशित होते रहते है।इन सभी सेवाओ मे रत होने के बावजूद डाक्टर तिवारी की व्यवहार कुशलता, सहजता व सरलता इनके बहुआयामी व्यक्तित्व का परिचायक है।

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