Kondagaon: शाख बचाने मुर्दो को खोद खोद कर निकाल रही पुलिस, फिर निकाली गई एक युवती की दफन लाश
कोंडागांव। इन दिनों जिले की पुलिस अपनी शाख बचाने में लगी हुई है क्योंकि जितनी किरकिरी पिछले कुछ दिनो मे कोंडागांव पुलिस की हुई है शायद उतनी का कभी न हुई हो। जिला अंतर्गत आने वाले धनोरा थाना क्षेत्र में विगत एक महीने में फांसी लगाकर आत्महत्या करने के विभिन्न प्रकरण सामने आए। जिसमें ग्राम छोटे ओड़ागाव का एक मामले में आत्महत्या करने के 2 महीने बाद मृतिका के शव को उत्खनन कराया गया और जांच के बाद बलात्कारी 7 आरोपियों को जेल भेजा गया। वहीं एक बार फिर थाना धनोरा क्षेत्र अंतर्गत ग्राम हिचका में लगभग 3 माह पूर्व एक नाबालिक युवती के द्वारा अपने घर के आंगन में फांसी लगाकर आत्महत्या कर लेने के बाद बिना पोस्टमार्टम के शव को दफनाने के मामला एक बार फिर से सामने आया है। जिसकी जानकारी पुलिस को सूत्रों और मीडिया के माध्यम से मिलने के बाद इलाके की पुलिस हरकत में आयी। जिसके बाद पुलिस थाना धनोरा में अपराध पंजीबद्ध कर इसकी सूचना अनुभागीय अधिकारी राजस्व केशकाल दीनदयाल मण्डावी को दिया गया। मामले की जांच करने हेतु 15 अक्टूबर को नायाब तहसीलदार क्षमा यदु को ग्राम हिचका भेजा गया। जांच में मृतका के परिजन एवं ग्राम प्रमुखों का बयान लिया था मृतका के पिता एवं परिवार जन सहित ग्राम के पटेल पंच सरपंच व ग्रामवासियों ने अपने कथन में यह स्वीकार किया था कि पुलिस को बगैर सूचना दिये लाश दफन कर दिया गया था
जांच उपरांत 24/10/2020 को अनुविभागीय अधिकारी राजस्व के आदेश पर नायाब तहसीलदार क्षमा यदु व अनु अधिकारी पुलिस अमित पटेल व स्वास्थ्य अमला की टीम ने ग्राम हिचका पहुँच कर जंगल में दफन किये गये मृतिका के शव का उत्खनन करवाया और शव को समुदायक स्वास्थ केंद्र धनोरा लाया गया। जहां डॉ मनीष मण्डावी ने बताया कि शव काफी पुराना हो चुका है जिसके चलते शव को फोरेंसिंक लेब जगदलपुर भेजा जा रहा है रिपोर्ट आने पर आगे की प्रक्रिया की जावेगी।
नायब तहसीलदार केशकाल शुश्री क्षमा यदु ने बताया कि उन्होंने पूर्व में ग्रामीणों एवं परिजनों का बयान लिया था जिसके आधार पर एसडीएम केशकाल के द्वारा शव उत्खनन का आदेश दिया गया था उसी का पालन करते हुए शनिवार की दोपहर में उत्खनन किया गया तथा उसे फॉरेंसिक जांच के लिए जगदलपुर भेज दिया गया है।
अनुभागीय अधिकारी पुलिस अमित पटेल ने बताया कि केश की जांच की जा रही है। इसके साथ ही पोस्टमार्टम के रिपोर्ट आने के बाद ही आगे की कार्यवाही की जावेगी।
किशोरी के मौत के बारे में परिवार जन एवं ग्रामवासियों का यह कथन हैं कि किशोरी का तबियत ठीक नहीं था। उसका झाड़फूंक एवं पूजा पाठ कर इलाज कराया जा रहा था। इसी बीच उसने आत्महत्या कर ली थी। वहीं मृतिका के पिता ने बताया कि जानकारी के अभाव के चलते पुलिस को सूचना नही दे पाया व ग्राम में ही मृतिका के शव को जंगल मे दफनाया गया है।
लगातार धनोरा थाना क्षेत्र में इस तरह से युवतियों द्वारा किये गये आत्महत्या के मामले सामने आ रहे है जो कि पिछले कई दिनों से जमीन में दफन हो चुके थे, अब धीरे धीरे उनका खुलासा हो रहा है जो कि क्षेत्र के तत्कालीन पुलिसिया अमले पर सवाल खड़ा कर रहा है? आखिर क्यों पुलिसिया अमले के उस कार्यकाल के दौरान इस तरह की घटनाएं सामने आ रही है?