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जिला पंचायत परिसर में बिहान मेला शुरू, Bihan fair starts in the district panchayat campus

दुर्ग । जिला पंचायत परिसर में आज बिहान बाजार का शुभारंभ हुआ। जिला प्रशासन द्वारा स्व सहायता समूह की महिलाओं द्वारा बनाए गए हैंड मेड प्रोडक्ट को विक्रय हेतु प्लेटफार्म देने के उद्देश्य से आयोजित बिहार बाजार में आज बड़ी संख्या में लोग पहुंचे और मेला को देखा तथा अपने आवश्यकता की सामानों की खरीददारी की। जिला पंचायत सीईओ श्री सच्चिदानंद आलोक ने बताया कि राज्य शासन की महत्वाकांक्षी योजना गोधन न्याय योजना में गोबर खरीदी तो की ही जा रही है साथ ही नरवा गरवा घुरवा बाडी  परियोजना के तहत स्थापित गौठानों को रोजगार ठौर के रूप में भी विकसित किया जा रहा है ।जहां महिलाएं गोबर वर्मी कंपोस्ट खाद बनाने के अलावा दीपावली एवं त्योहारों के सीजन के हिसाब से दीपक एवं अन्य सजावटी सामान भी बना रही है। उन्होंने बताया कि स्व सहायता समूह की महिलाओं ने  करीब चार लाख  दीये बनाए हैं जिसमें से 1 लाख दीयों का विक्रय अपने स्तर पर कर चुकी है, बिहान बाजार में महिलाओं द्वारा गोबर से निर्मित करीब दो लाख दिए विक्रय के लिए उपलब्ध है।  इसके अलावा मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने भी इन महिलाओं को 40 हजार दीयों का आर्डर दिया है जो एक-दो दिनों में डिलीवर कर दिया जाएगा उन्होंने बताया कि करीब 100 स्व सहायता समूह बिहान बाजार में अपने उत्पादों का विक्रय कर रहे हैं।

उल्लेखनीय है कि राज्य शासन द्वारा प्रदेश की सांस्कृतिक विरासत, संस्कृति, परंपरा को स्थापित करने का कार्य किया जा रहा है। इस दिशा में महिला स्व सहायता समूह सक्रियता के साथ मुख्य भूमिका निभा रही हैं। राज्य शासन की अति महत्वकांक्षी योजना नरवा, घुरवा बाड़ी के अंतर्गत महिला समूहों को अवसर मुहैया कराकर राज्य की संस्कृति को बढावा दिया जा रहा है। गौठान से निकले गोबर से अनेक प्रकार के उत्पाद बनाए जा रहे हैं। इसके अलावा छत्तीसगड़ी व्यंजनों को भी बढावा दिया जा रहा है। इसके लिए महिला समूहों को बिहान मेले के माध्यम से बाजार उपलब्ध कराया जा रहा है। जिसके माध्यम से महिला समूह व्यवसाय कर रही है। इसी दिशा में दुर्ग के जिला पंचायत भवन परिसर में बिहान मेले का आयोजन किया गया है। बिहान मेले में जिले के कई महिला समूहों द्वारा छत्तीसगढी व्यंजनों का स्टाल लगाया गया है। बिहान मेले में गोबर से बने पंचगव्य दिये का विक्रय किया जा रहा है। ये दिये जिले के महिला स्व सहायता समूह द्वारा तैयार किया जा रहा है। समूहों के द्वारा मोमबत्ती, रुई की बत्ती, ग्लिसरीन साबुन, हर्बल हैंड वॉश और छत्तीसगढी व्यजंन जैसे अनरसा, गुझिया, खुरमी, ठेठरी  का भी विक्रय किया जा रहा है।

यहां मेले में आयी दुर्ग के ग्राम पंचायत महमरा के मां परमेश्वरी स्व सहायता समूह की संचालिका बबीता देवांगन ने बताया कि उनके समूह में 15 महिलाएं जुड़ी है और मांग के अनुसार घर में ही सामग्री तैयार की जा रही है। समूह के द्वारा गोबर के दियें के अलावा धनिया, मिर्च और हल्दी के पाउडर के साथ फ्लोटिंग कैंडल आदि का भी निर्माण किया जा रहा है। इसी प्रकार शिवम स्व सहायता समूह, दरबार मोखली की पुष्पा देवी के अनुसार उनका 12 महिलाओं का समूह है जो पंचगव्य के दिये बनाती हैं जिसके लिए उन्हें शासन से 15 हजार रुपये सहायता राशि मिली है। जागृति स्व सहायता समूह, पाटन की मनीषा चंद्राकर आज बिहान मेले छत्तीसगढ़ी व्यजंन जैसे गुझिया, राजगीर लड्डू, अनरसा, ठेठरी, खुर्मी, नारियल लड्डू का विक्रय कर रही है। गीतांजलि स्व सहायता समूह की महिलाएं रुई की बत्ती, मोमबत्ती, ग्लिसरीन युक्त एलोवीरा, चारकोल, नीम आदि के साबुन विक्रय कर रही है। सिद्धि स्व सहायता समूह बोरिगारका उतई की पुष्पा साहू फ्लोटिंग कैंडल, आचार, पापड़, बड़ी आदि का विक्रय कर रही हैं।

महिलाओं के द्वारा बनी सामग्री बहुत उपयोगी- स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के रीजनल मैनेजर शेष चक्रवर्ती ने बताया कि बिहान बाजार के रूप में जिला प्रशासन द्वारा उल्लेखनीय पहल की गई है । उन्होने पहली बार  देखा कि गोबर से भी  इतनी सुंदर  चीज है बन सकती हैं । उन्होंने भी गोबर के दीए खऱीदे हैं जो देखने में काफी खूबसूरत हैं इसके अलावा उन्होंने मसाले एवं अन्य सामग्रियां जैसे,मसाले  सजावटी सामान, भी खरीदे हैं ।

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