ग्रामीण विकास,कृषि और उनके अनुषांगिक विभागों के स्टाल लगाए जाएंगे
ग्रामीण विकास,कृषि और उनके अनुषांगिक विभागों के स्टाल लगाए जाएंगे
रिपोर्ट कान्हा तिवारी
गौठानों में विविध गतिविधियों का आयोजन आज,
ग्रामीण विकास,कृषि और उनके अनुषांगिक विभागों के स्टाल लगाए जाएंगे,
योजनाओं की दी जाएगी जानकारी,
किसान क्रेडिट कार्ड शिविर सहित महिला समूहों द्वारा उत्पादित सामग्रियों की लगेगी प्रदर्शनी,
जांजगीर-चांपा,18 जून,2020/
जिले के गांवों के गौठानों में 19 जून को विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इस दौरान पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, कृषि विभाग, पशु चिकित्सा, पशुपालन, मछलीपालन आदि विभागों के द्वारा गौठान में शिविर एवं समूह की महिलाओं द्वारा सामग्री का प्रदर्शन किया जाएगा। गांवों में रोका छेका की परंपरा को पुन: स्थापित करने पंच, सरपंच, जनप्रतिनिधि, ग्राम के नागरिक और चरवाहों की बैठक आयोजित की जाएगी। किसान क्रेडिट बनाने की कार्रवाई भी की जाएगी।
जिले में राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी योजना नरवा, गरवा, घुरवा और बाड़ी के तहत बनाए जा रहे गौठानों का सुचारू संचालन किया जा रहा है।
19 जून को कलेक्टर श्री यशवंत कुमार के मार्ग निर्देशन में जिले के गौठानों में विविध कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। उन्होंने सभी विभागों के अधिकारियों एवं फील्ड के अमले को आवश्यक तैयारी करने के निर्देश दिए हैं।
पशुओं के लिए गौठान में शिविर-
जिला पंचायत सीईओ श्री तीर्थराज अग्रवाल ने बताया कि 19 जून को गौठानों में महिला समूहों द्वारा तैयार की जा रही कम्पोस्ट खाद का वितरण किसानों को किया जाएगा। इसके अलावा समूह के माध्यम से बनाई जा रही सामग्री का प्रदर्शन भी होगा। पशु चिकित्सा विभाग द्वारा मवेशियों के स्वास्थ्य परीक्षण शिविर का आयोजन किया जाएगा।
पशुओं के लिए गोठानों में प्रर्याप्त चारे का संग्रहण करने अभियान चलाया जाएगा।
किसान क्रेडिट कार्ड शिविर-
गौठान ग्राम में 19 जून को पशुपालन, मछलीपालन के लिए किसानों की सुविधा के लिए किसान क्रेडिट कार्ड बनाने के लिए शिविर लगाया जाएगा।
पशु पालकों, किसानों को कृषि, पशुपालन, मछलीपालन की विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी जाएगी और लाभान्वित किया जाएगा।
रोका छेका की परंपरा बरकरार रखने बैठक का आयोजन-
जिला पंचायत सीईओ श्री अग्रवाल ने बताया कि 19 जून को गोठानों में जनप्रतिनिधियों सहित सरपंच,पंच, पशुपालक ग्रामीण बैठक आयोजित की जाएगी।। बैठक में परंपरागत रोका छेका की ब्यवस्था को बनाए रखने और अपने मवेशियों को गौठान में ही छोड़ने की अपील की जाएगी। इससे किसानों की फसलों को मवेशियों से चरने से बचाया जा सकेगा।