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Delhi government government allows use of wood for cremation amid coronavirus | शवों के लगे ढेर, अब दिल्ली में कोविड मरीजों का होगा लकड़ी से अंतिम संस्कार | nation – News in Hindi

शवों के लगे ढेर, अब दिल्ली में कोविड मरीजों का होगा लकड़ी से अंतिम संस्कार

(AP Photo/Mahesh Kumar A.)

नई दिल्ली. राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (Delhi) में मन्यूनिसिपल कॉरपोरेशन द्वारा चलाए जा रहे चार शवदाहगृहों ने कोविड -19 के शवों के अंतिम संस्कार के लिए लकड़ी का उपयोग करना शुरू कर दिया है. अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि की. मिली जानकारी के अनुसार इस कदम की जरूरत इसलिए पड़ी क्योंकि छह में से दो सीएनजी से चलने वाली शवदागृह चल रही थीं और कोविड मरीजों के शव को श्मशान घाट से वापस ला रहे थे क्योंकि शव वहां रखे नहीं जा सकते थे.

इससे पहले कोविड-19  (Covid19) रोगियों के शवों के दाह संस्कार के लिए लकड़ी का उपयोग संक्रमण के संभावित प्रसार के डर से पहले करने की अनुमति नहीं थी. अधिकारियों ने गुरुवार को कहा कि बुधवार रात एक तीसरी CNG शवदाह गृह ठीक की गई. यमुना के किनारे निगमबोध घाट के कर्मचारी ने कहा कि उन्हें अन्य तीन शवदाह गृहों की मरम्मत में कम से कम दो महीने लगेंगे. गुरुवार को, दिल्ली में कोविड -19 के 16,281 मामले और 316 मौतें दर्ज की गईं और 7,495 लोग डिस्चार्ज किये गये.

बुधवार को उत्तरी दिल्ली नगर निगम ने कोविड -19 रोगियों के दाह संस्कार के लिए नोडल एजेंसी – कड़कड़डूमा, निगमबोध घाट, रानी झाँसी रोड और पंजाबी बाग में चार श्मशानघाट को अंतिम संस्कार के लिए लकड़ी का उपयोग करने का निर्देश दिया. उत्तर, दक्षिण और पूर्वी दिल्ली के म्यूनिसिपल कॉर्पोरेशन ने इससे पहले आदेश दिये थे कि कोविड-19 संक्रमित या संदिग्धों की मौत पर उनका अंतिम संस्कार सीएनजी शवदाहगृह में होगा.

आदेश के बाद रानी झांसी श्मशान में कोविड-19 संक्रमित और संदिग्ध मामलों के शवों को लेना शुरू कर दिया है, अधिकारियों ने लोगों की मौजूदगी के बारे में सख्त कर दिया है. गुरुवार शाम तक लकड़ी का उपयोग करके 15 शवों का अंतिम संस्कार किया गया था.हिन्दुस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार श्मशान के प्रभारी सुल्तान सिंह ने कहा, ‘हमने अभी कोविड -19 से जुड़े शवों का अंतिम संस्कार शुरू किया है. हम शरीर के पास परिवार के केवल एक सदस्य को आने की अनुमति देते हैं. यहां तक कि एक रिश्तेदार को मास्क पहनना पड़ता है और अन्य सावधानियां बरतनी पड़ती हैं. यहां पुजारी भी मास्क और दस्ताने पहनते हैं. कोई भी व्यक्ति शरीर नहीं खोलता है जो पीपीई सूट में लिपटा होता है. उसे सीधे लकड़ी के ढेर के ऊपर रखा जाता है और अंतिम संस्कार किया जाता है. शरीर से कोई संपर्क नहीं होता. हमारे लिए यह नई बात है. हम सरकार के आदेशों का पालन कर रहे हैं.’ विशेषज्ञों ने कहा कि लकड़ी से कोविड -19 रोगियों के शवों का अंतिम संस्कार पूरी तरह से सुरक्षित है.

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First published: May 29, 2020, 8:13 AM IST



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