Civil Aviation Minister Hardeep Singh Puri is answering questions related to domestic flights starting from May 25 nodakm | फोन में नहीं है आरोग्य सेतु एप तो ऐसे कर सकते हैं यात्रा, जानिए अपने हर सवाल का जवाब | nation – News in Hindi


केंद्रीय नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी. (फाइल फोटो)
केंद्रीय नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी (Hardeep Singh Puri) 25 मई से शुरू होने जा रही घरेलू उड़ानों (Domestic Flights) से जुड़े सवालों का जवाब दे रहे हैं.
मुसाफिरों के सवाल को लेने से पहले केंद्रीय नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने वंदे भारत ऑपरेशन के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि अभी तक 25000 भारतीय नागरिकों को भारत वापस लाया गया है. इसी तरह, भारत से 8000 नागरिकों को उनके देश तक पहुंचाया गया है. उन्होंने कहा कि बहुत से देशों में बाहरी नागरिकों को आने की इजाजत न मिलने के चलते उनको नहीं भेजा जा सका है. उन्होंने बताया कि हमारी कोशिश है कि इस महीने के अंत तक हम 30 हजार भारतीयों की इस कठिन समय में वतन वापसी करा सकें. इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए निजी एयरलाइंस ने भी प्रस्ताव भेजा था. जिसे हमने स्वीकार कर लिया है. जल्द ही वंदे भारत ऑपरेशन में निजी एयरलाइंस के एयरक्राफ्ट को भी लगाया जाएगा.
आइये, आपको बताते हैं मुसाफिरों के मन को उधल पथल करने वाले सवाल और उनके जवाब.
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प्रश्न: चूंकि, आरोग्य सेतु एप स्मार्ट फोन पर ही चलता है और हमारे पास स्मार्ट फोन नहीं है. ऐसी स्थिति में क्या हमें हवाई यात्रा की इजाजत मिलेगी?
जवाब: कोविड-19 जैसी महामारी के इस दौर में आपको आरोग्य सेतु एप हासिल करने के लिए बेहद छोटी सी कीमत देनी होगी. बावजूद, इसके यदि आपके पास स्मार्ट फोन या आरोग्य सेतु एप नहीं है तो ऐसा बिल्कुल नहीं है कि आपको हवाई यात्रा की इजाजत नहीं दी जाएगी. ऐसी स्थिति में आप किसी डॉक्टर से यह सर्टिफिकेट ले सकते हैं कि आप अंदर कोविड-19 के कोई भी सिंटम नहीं हैं. आप एयरपोर्ट पर एक सेल्फ डिक्लेरेशन भी दे सकते हैं. उन्होंने कहा कि यदि किसी मुसाफिर में कोविड-19 के सिंटम है तो उसे एयरपोर्ट में भी पकड़ा जा सकता है. इस बारे में लगातार चर्चा चल रही है. अगले एक-दो दिन में सभी बातों को साफ कर दिया जाएगा.
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सवाल: कनाड़ा, यूके, जापान, आस्ट्रलिया सहित अन्य देशों के लिए अंतर्राष्ट्रीय फ्लाइट का ऑपरेशन कब से शुरू होगा. भारत में मौजूद अंतराष्ट्रीय छात्रों एवं वर्कर्स को उनके देश में भेजने के लिए अगस्त या सितंबर में अंतर्राष्ट्रीय फ्लाइट की शुरूआत हो सकती है.
उत्तर: जहां तक सवाल ऐसे भारतीयों का है, जो इस समय भारत में हैं, लेकिन वह मूल तह कनाड़ा, यूके, जापान, आस्ट्रेलिया सहित अन्य देशों में रहते हैं. ऐसे लोगों की मदद के लिए हम जल्द कदम उठाने जा रहे है. इन कदमों के तहत, हम वंदे भारत फ्लाइट की संख्या में इजाफा कर रहे हैं. जहां तक, अगस्त और सितंबर में इंटरनेशनल फ्लाइट शुरू करने की बात है तो हम इस मामल में बेहद आशावादी हैं. हमारा मानना है कि यदि अगस्त और सितंबर से पहले हालात में सुधार होते हैं और सब कुछ ठीक रहता है तो हम इंटरनेशनल फ्लाइट का ऑपरेशन जून के मध्य या जुलाई में ही शुरू कर सकते हैं.
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प्रश्न: भारत, चीन और अमेरिका दुनिया के सबसे अधिक जनसंख्या वाले देश हैं. कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बावजूद चीन और अमेरिका अपने नागरिकों को स्वदेश आने की इजाजत दे रहे है. लेकिन, भारत ने अपने नागरिको को वापसी की इजाजत नहीं दे रहा है. इस मामले में भारत का रुख अलग क्यों हैं?
उत्तर: हमारा इस मामले में रुख बिल्कुल अलग नहीं है. हमने शुरू से कहा है कि सभी विदशों में मौजूद सभी भारतीय वापस आपस आ सकते हैं. हमने इसकी शुरूआत उन लोगों से की है, जो किसी तरह की परेशानी में हैं या वह वहां फंसे हुए हैं. यह भी सच है कि सभी भारतीय वापस आना भी नहीं चाहते हैं. हमने इस मामले में एक बड़ा सकारात्मक कदम उठाया है. अब हम भारतीय पासपोर्ट धारकों को ही नहीं, बल्कि ओसीआई कार्ड धारकों को भी भारत आने की इजाजत दे रहे हैं. जिसमें, ऐसे नागरिक जो मूलतह भारत के हैं और उनके पास किसी अन्य देश का पासपोर्ट है, उन्हें भी हम भारत आने की इजाजत दे रहे हैं. 5 मई को शुरू हुए वंदे भारत मिशन के तहत अब तक हम 25 हजार भारतीयों को वापस लाया गया है. जल्द ही निजी एयरलाइंस भी इस मिशन में शामिल हो जाएंगी, जिसके बाद हम अधिक संख्या में भारतीयों को वापस ला सकेंगे.
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प्रश्न: मैं विजयवाड़ा से नई दिल्ली जाना चाहता हूं. मेरे घर से एयरपोर्ट की दूरी करीब 90 किमी है. मेरा इलाका ग्रीन जोन में है. क्या पुलिस मुझे एयरपोर्ट तक जाने की इजाजत देगी.
उत्तर: मान लीजिए वंदे भारत स्कीम के तहत, एक यात्री को दिल्ली से टोरंटो जाना है और गुड़गांव में है. ऐसी स्थिति में उसे समस्या हो सकती है. सभी राज्य सरकारे इस तरह की प्रैक्टिकल प्रॉब्लम्स को समझती हैं. हम हम इस समस्या के समाधान के लिए काम कर रहे हैं.
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प्रश्न: जिस तरह एयर इंडिया एयर टिकट की तारीख बदलने के लिए किसी तरह का शुल्क नहीं ले रही है, उसी तरह दूसरी निजी एयरलाइंस को भी 15 जून तक इस बाबत छूट देनी चाहिए. क्या इस मामले में मंत्रालय कोई कदम उठा रहा है?
उत्तर: ये जो टिकटिंग का इश्यू है, यह यात्री और एयरलाइंस के बीच का कामर्शियल मामला है. चूंकि, लॉकडाउन का फैसला सरकार का है और सरकार के इस फैसले की वजह से लोग फंसे हुए हैं. लिहाजा, हमने यह एडवाइजरी जारी कि टिकटों की शत-प्रतिशत राशि रिफंड किया जाए. इस मामले में एक सुप्रीम कोर्ट में एक पीआईएल भी दाखिल हुई है. देखते हैं उसमें क्या होता है. हम सिर्फ एयरलाइंस को सुझाव दे सकते हैं. आखिरकार, यह कंज्यूमर और एयरलाइंस के बीच का कामर्शियल मसला है. हमारी जिम्मेदारी यह है कि कोई भी एयरलाइंस मंत्रालय द्वारा निर्धारित किए गए न्यूनतम और अधिकतम किराये का उल्लंघन न कर सके.
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प्रश्न: श्रीलंका में करीब 1200 भारतीय नागरिक फंसे हुए हैं. अभी तक सिर्फ एक फ्लाइट श्रीलंका भेजी गई है, जिसकी क्षमता करीब 170 की थी. श्रीलंका में फंसे भारतीयों के साथ ऐसा पक्षपात क्यों किया जा रहा है?
उत्तर: मैं पक्षपात का शब्द इस्तेमाल करने में थोड़ा हिचकिचाहट महसूस करता हूं. देखिये, जब हमने यह हमने यह प्रॉसेस शुरू किया था, तब लगा था कि जो लोग फंसे हुए हैं यहां जो लोग परेशान हैं, उनका नंबर बहुत बड़ा नहीं है. विदेशी मंत्रालय ने इस विषय पर काम करने के बाद हमें बताया कि करीब 1.90 लाख हमारे बहन भाई हैं, जिन्हें वापस लाना होगा. हमारी तैयारी है कि पहले 25 दिनों में करीब 50 हजार लोगों को हम ले आएंगे. जहां तक पड़ोसी देशों की बात है तो हमने हाल में ही एक पड़ोसी देश में पानी का जहाज भेजा है. जहां तक श्रीलंका की बात है, तो जहां तक मेरी जानकारी है, हम जल्द ही या तो पानी का जहाज या हवाई जहाज भेजेंगे. जिससे वहां फंसे भारतीयों को वापस लाया जा सके. इसमें पक्षपात की कोई बात नहीं है.
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First published: May 23, 2020, 1:20 PM IST