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Lockdown में फंसे इन भारतीयों को देख दूर भागते हैं लोग, कोरोना-कोरोना चिल्लाकर मचाते हैं शोर | ghaziabad-man-with-50-other-indians-stuck-in-papua-new-guinea-amid-lockdown | delhi-ncr – News in Hindi

लॉकडाउन में फंसे इन भारतीयों को देख दूर भागते हैं लोग, कोरोना-कोरोना चिल्लाकर मचाते हैं शोर

हिमाचल में कोरोना से दूसरी मौत. (सांकेतिक तस्वीर)

गाजियाबाद के रहने वाले ज्योति प्रकाश यूनिसेफ के एक प्रोजेक्ट के तहत पापुआ न्यू गिनी (Papua new Guinea) गए थे. लेकिन लॉकडाउन (Lockdown) की वजह से वहां फंस गए हैं.

नई दिल्ली. भारत समेत दुनिया के कई देशों में कोरोना वायरस (COVID-19) की रोकथाम के लिए लॉकडाउन (Lockdown) है. इस कारण कई लोग अलग-अलग मुल्कों में फंसे हुए हैं. भारत में भी विश्व के कई देशों के लोग फंसे हुए हैं. इसी तरह कई भारतीय भी जो लॉकडाउन से पहले विदेश यात्रा पर थे, अब तक वहीं फंसे हुए हैं. इन्हीं में से एक हैं गाजियाबाद के रहने वाले ज्योति प्रकाश. वे लॉकडाउन शुरू होने से पहले नाम के एक छोटे से द्वीप पर फंसे हुए हैं. ज्योति प्रकाश यूनिसेफ के एक प्रोजेक्ट के तहत पापुआ न्यू गिनी (Papua new Guinea) गए थे. लेकिन लॉकडाउन की वजह से अब वह अपने साथियों के संग भारत से हजारों किलोमीटर दूर पापुआ न्यू गिनी में फंसे हुए हैं. इस देश में 50 अन्य भारतीय भी उनके साथ लॉकडाउन में फंसे हैं.

नवभारत टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, गाजियाबाद में रहने वाले ज्योति प्रकाश यूनिसेफ के एक प्रोजेक्ट के तहत पापुआ न्यू गिनी गए थे. वहां उनके साथ 5 अन्य साथी भी हैं. लॉकडाउन की वजह से अब ये सभी लोग इस देश में फंस गए हैं. रिपोर्ट के मुताबिक ज्योति ने बताया कि पापुआ न्यू गिनी में लॉकडाउन की वजह से उन्हें काफी मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है. वहां के स्थानीय लोग विदेशियों को देखकर कोरोना-कोरोना चिल्लाते हुए भाग जाते हैं. ऐसे में किसी से मदद मिलना भी मुश्किल हो जाता है.

वेबसाइट की रिपोर्ट के अनुसार, ज्योति प्रकाश ने बताया कि वे डायबिटीज के मरीज हैं. उन्हें पीठ का ट्यूमर भी है. ऐसे में लॉकडाउन होने से वे काफी मुसीबत में हैं, क्योंकि उन्हें समय पर दवाएं भी नहीं मिल रहीं. ज्योति ने बताया कि वे अपने साथ 3 महीने की दवा लाए थे, जो अब खत्म हो चुकी हैं. पापुआ के सुदूर इलाके में फंसे ज्योति को अब ये दवाएं भी नहीं मिल रही हैं. उन्होंने कहा कि यहां पर बाजार जाने या कहीं और जाने पर स्थानीय लोग उनसे डरकर दूर भाग जाते हैं. ज्योति ने हालात को देखते हुए भारतीय दूतावास को फोन कर मदद भी मांगी थी. उन्होंने वेबसाइट के साथ बातचीत में कहा कि डायबिटीज या अन्य रोग की दवा खत्म हो जाने की वजह से उन्हें बहुत दिक्कत हो रही है. एक तरफ लॉकडाउन की वजह से दिन गुजारना मुश्किल है, वहीं दवाओं के अभाव में जीना भी दुश्वार हो रहा है.

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First published: May 5, 2020, 8:34 PM IST



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