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अमेरिका में कोरोना वायरस के मरीजों का इलाज कर रहीं मिल्खा सिंह की बेटी, इमरजेंसी वॉर्ड में है ड्यूटी | Milkha Singh daughter mona milkha singh treating COVID19 patients at a US hospital | nation – News in Hindi

अमेरिका में कोरोना वायरस के मरीजों का इलाज कर रहीं मिल्खा सिंह की बेटी, इमरजेंसी वॉर्ड में है ड्यूटी

मोना मिल्खा सिंह न्यूयार्क के मेट्रोपोलिटन हॉस्पिटल सेंटर में डॉक्टर है.

मिल्खा सिंह ने बताया है कि उनकी बेटी मोना मिल्खा सिंह (Mona Milkha Singh) न्यूयॉर्क (New York) में डॉक्टर और कोरोना वायरस (Coronavirus) के आपात मरीजों का इलाज कर रही हैं.

नई दिल्ली. दुनिया भर में कोरोना वायरस (Coronavirus) का प्रकोप जारी है. दुनिया में इससे अब तक 25 लाख से ज्यादा लोग संक्रमित हैं जबकि 1 लाख 78 हजार लोगों की मौत हो चुकी है. पूरे विश्व में डॉक्टर्स लोगों को ठीक करने के मोर्चे पर डटे हुए हैं. ऐसे में पूर्व ओलंपियन मिल्खा सिंह (Former Olympian Milkha Singh) की बेटी भी अमेरिका (America) लोगों को ठीक करने में लगी है. इसके बारे में खुद मिल्खा सिंह ने जानकारी दी है. मिल्खा सिंह ने बताया है कि उनकी बेटी मोना मिल्खा सिंह (Mona Milkha Singh) न्यूयॉर्क (New York) में डॉक्टर है. उन्होंने कहा कि उन्हें अपनी बेटी पर नाज है. मिल्खा सिंह ने बताया कि उनकी बेटी उनसे रोजाना बात करती है और हमें अपना ख्याल रखने के लिए कहती है. उन्होंने कहा कि हमें अपनी बेटी की चिंता होती है क्योंकि वह ड्यूटी करती है.

इमरजेंसी वॉर्ड में कोरोना मरीजों का इलाज कर रही हैं डॉक्टर मोना
मोना मिल्खा सिंह न्यूयार्क के मेट्रोपोलिटन हॉस्पिटल सेंटर में डॉक्टर है. वह कोरोना के आपात मरीजों का इलाज कर रही है. अमेरिका में अभी तक इस महामारी से 40000 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है. मिल्खा सिंह के बेटे मशहूर गोल्फर और चार बार के यूरोपीय टूर चैम्पियन जीव मिल्खा सिंह ने कहा, “वह न्यूयार्क के मेट्रोपोलिटन अस्पताल में आपात कक्ष डाक्टर है. जब भी कोरोना के लक्षण वाला कोई मरीज आता है तो उसे उपचार करना होता है.” उन्होंने कहा, “वह पहले मरीज की जांच करती है जिसके बाद उन्हें पृथकवास के लिये विशेष वार्ड में भेजा जाता है.”

90 के दशक में अमेरिका में बस गई थीं54 वर्ष की मोना ने पटियाला से एमबीबीएस किया और नब्बे के दशक में अमेरिका में बस गई. जीव ने कहा ,”मुझे उस पर गर्व है. वह हर रोज मैराथन दौड़ रही है. वह हफ्ते में पांच दिन काम करती है. कभी दिन में, कभी रात में और बारह बारह घंटे.” उन्होंने कहा, “मैं उसे लेकर चिंतित हूं. लोगों का इलाज करते समय कुछ भी हो सकता है. हम उससे रोज बात करते हैं .मम्मी पापा भी रोज उससे बात करते हैं. मैं उसे सकारात्मक रहने और प्रतिरोधक क्षमता बढाने के लिये कहता हूं.” उन्होने कोरोना के खिलाफ मोर्चे पर काम में लगे कर्मवीरों का सम्मान करने की अपील की . भारत में स्वास्थ्यकर्मियों पर हमलों की घटनायें सामने आई हैं.

उन्होंने कहा , “मैं देश के हर नागरिक से अपील करना चाहता हूं कि कोरोना के खिलाफ लड़ाई में जुटे लोगों का सम्मान करे. चाहे वह डॉक्टर हो, पुलिस या फिर सफाईकर्मी. उनका सम्मान करना चाहिये और उनकी चिंता करनी चाहिये.”

(भाषा के इनपुट के साथ)

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First published: April 22, 2020, 7:25 PM IST



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