हॉटस्पॉट जिलों में कोरोना वायरस का संक्रमण रोकने के लिए सरकार सख्त, जारी की गाइडलाइन । Strict guidelines to prevent corona virus infection in hotspot districts | nation – News in Hindi
श्रीनगर के एक रिहायशी इलाके को रेड जोन मार्क किया गया है (फोटो- Reuters)
कोरोना वायरस (Coronavirus) से सर्वाधिक प्रभावित 170 जिलों को हॉटस्पॉट जिले (Hotspot Districts) के रूप में, संक्रमण की मौजूदगी वाले 207 जिलों को संभावित हॉटस्पॉट जिले के रूप में और शेष जिलों को संक्रमण से मुक्त होने के कारण हरित जिले (Green Districts) के रूप में चिन्हित किया गया है.
कोरोना वायरस संकट (Corona virus crisis) से निपटने के लिये देशव्यापी पूर्ण बंदी (Lockdown) की अवधि तीन मई तक बढ़ाये जाने के बाद केन्द्रीय गृह मंत्रालय (Home Ministry) ने नये दिशानिर्देश जारी कर राज्य सरकारों को संक्रमण की तेज वृद्धि दर वाले हॉटस्पॉट जिलों (Hotspot Districts) में लॉकडाउन का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने को कहा है.
कोरोना वायरस से सर्वाधिक प्रभावित 170 जिलों को घोषित किया गया है हॉटस्पॉट
उल्लेखनीय है कि कोरोना वायरस से सर्वाधिक प्रभावित 170 जिलों को हॉटस्पॉट जिले के रूप में, संक्रमण की मौजूदगी वाले 207 जिलों को संभावित हॉटस्पॉट जिले के रूप में और शेष जिलों को संक्रमण से मुक्त होने के कारण हरित जिले (Green Districts) के रूप में चिन्हित किया गया है.दिशानिर्देशों के मुताबिक लॉकडाउन के दौरान देश में आयुष सहित सभी स्वास्थ्य सेवाओं को सुचारू बनाये रखने के लिये कहा गया है. इनमें अस्पताल, नर्सिंग होम, क्लीनिक, डिस्पेंसरी, जन औषधि केन्द्र एवं दवा एवं चिकित्सा उपकरणों की दुकानें तथा टेलीमेडिसिन सेवायें (Telemedicine Services) शामिल हैं.
एक ही स्थान पर संक्रमण के कम से कम 15 मामले होने पर उसे माना जाएगा क्लस्टर
हॉटस्पॉट जिलों में सिर्फ अनिवार्य सेवाओं की आपूर्ति (Supply of essential services) बहाल रखते हुये अन्य किसी भी प्रकार की गतिविधि के संचालन को सख्ती से बंद रखने को कहा गया है. स्वस्थ्य मंत्रालय द्वारा निर्धारित मानकों के मुताबिक संक्रमण की अधिक वृद्धि दर वाले जिलों को हॉटस्पाट जिले के रूप में चिन्हित किया गया है. संक्रमण वाले इलाकों में एक ही स्थान पर संक्रमण के कम से कम 15 मामलों की पुष्टि होने पर उस स्थान को एक ‘क्लस्टर’ माना जायेगा.
हॉटस्पॉट जिलों में संक्रमण रोकने के सघन अभियान वाले क्षेत्र (कन्टेनमेंट जोन) की पहचान स्थानीय प्रशासन को स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशानिर्देशों (Guidelines of Health Ministry) के मुताबिक करनी होगी. इसमें कहा गया है कि इन क्षेत्रों में किसी भी प्रकार की गतिविधि को मानकों की कसौटी पर सख्ती से परीक्षण किये जाने के बाद ही प्रशासन अनुमति दे.
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First published: April 15, 2020, 11:15 PM IST