कवर्धा

न घर, न गाड़ी, न कैश, दहेज में बेटी को देते हैं ऐसा गिफ्ट, सुनकर कांप जाएगी रूह, मना किया तो नहीं होती शादी

कवर्धा. सांप का नाम सुनते ही लोगों की रूह कांप जाती है, लेकिन कवर्धा में एक ऐसा समाज भी है, जिनके लिए सांप किसी खिलौने से कम नहीं है. बच्चे प्लास्टिक के खिलौने से कम जहरीले सांप से ज्यादा खेलते हैं. यही नहीं संवरा समाज के लोग अपनी बेटी की शादी में दहेज के रूप में 9 जहरीले सांप देते हैं. समाज की यह परंपरा कई पीढ़ियों से चली आ रही है, जो आज भी कायम है.
नगर पंचायत बोड़ला के अंतिम छोर में है संवरा परिवार की बस्ती. यहां 20 से ज्यादा परिवार के लोग रहते हैं. इनकी रोजी रोटी का मुख्य जरिया सांप ही है. जिसे गांव-गांव दिखाकर ये चावल और थोड़े पैसे इकट्ठा करते हैं. इसके अलावा बेटी की शादी में दहेज के रूप में ये 9 सांप देते हैं. इसके बिना बेटी की शादी नहीं होती है.
जानें अनोखे रिवाज के पीछे की कहानी
संवरा समाज आदिवासी समाज में आता है. इनके रिश्तेदार भी वनांचल क्षेत्र में रहते हैं. ये मैदानी क्षेत्र में रहकर सांप से जुड़े काम करते हैं. इनके समाज के युवा सुबह-सुबह ही अपने घरों से सांप को लेकर निकल जाते है, जो दिनभर गांव-गांव जाकर सांप दिखाते हैं. कुछ करतब दिखाकर अपनी रोजी रोटी की व्यवस्था करते हैं. दहेज में अपनी बेटी को सांप भी ये इसलिए देते है कि ससुराल में इनके भोजन की व्यवस्था इसी सांप को दिखाकर की जा सके.शासन की ओर से इन्हें राशन कार्ड की सुविधा मिली है, जिससे ये चावल लेकर अपनी अजीवीका चलाते हैं. आवास की मांग इनकी ओर से की जाती है, पर स्थायी जगह नहीं होने के चलते लाभ नहीं मिल पा रहा है. इसके कारण ये झोपड़े में रहने को मजबूर हैं. ग्रामीण सरकार की योजनाओं का लाभ मिलने की मांग भी करते हैं.

Related Articles

Back to top button