छत्तीसगढ़

पूनम शुक्ला भारत रत्न स्व.अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती पर दी श्रद्धांजली। पूनम शुक्ला- हर भारतवासी के ह्रदय में उनके लिए एक खास स्थान है

पूनम शुक्ला भारत रत्न स्व.अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती पर दी श्रद्धांजली। पूनम शुक्ला- हर भारतवासी के ह्रदय में उनके लिए एक खास स्थान है।

भूपेंद्र साहू।
ब्यूरो चीफ बिलासपुर।
25 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई जी की जयंती के अवसर पर पूनम शुक्ला अपने श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुए कहा पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न स्व. अटल बिहारी बजपेयी बहुत महान एवं पुण्यात्मा थे, उनका यशस्वी जीवन हम सभी कार्यकर्ताओं के लिए प्रेरणा स्त्रोत है, जो हम सभी कार्यकर्ताओं को सादगी सरलता के साथ संगठन के प्रति पूर्णतः समर्पित होने की दिशा देते है।
भारत रत्न स्व.अटल ने छत्तीसगढ़ राज्य की सौगात दी।
बिलासपुर का रेलवे जोन और सुपर क्रिटिकल थर्मल पर आधारित एनटीपीसी की परियोजना का उद्घाटन 2004 में छत्तीसगढ़ की जब तरक्की और विकास के लिए स्वयं अपने हाथों से करते हुए बिलासपुर के स्थानीय करता मैदान में सुशासन के लिए परिवर्तन का नारा दिया।
2018 में बिलासपुर यूनिवर्सिटी का नाम अटल बिहारी वाजपेयी विश्वविद्यालय किया गया। छत्तीसगढ़ और बिलासपुर के लोगों से अटल जी का विशेष लगाव था।
उनके मौन में भी जनमानस के कल्याण के लिए प्रकृति के भाव रहते थे, प्रेरणास्पद लेखनी के मूर्धन्य कवि एवं साहित्यकार रहे।
अटल जी को समाज के सभी वर्ग निर्विवाद रूप से स्वीकार करते थे। सेवा प्रतिबद्धता, धैर्य, त्याग, अनुशासन दूरदर्शिता, सहजता, विनम्रता, स्पष्टता स्पष्टता, संवेदनशीलता, राष्ट्रवाद एवं प्रकृति प्रेम के भाव स्वर्गीय अटल जी के जीवन के वे अनुकरणीय पहलू है, जिन पर ही चलकर मां भारती के विशुद्ध भारतीय सपूत के व्यक्तित्व का निर्माण हो सकता है।

पुनम शुक्ला ने कहा प्रदेश में इस समय भूपेश बघेल के नेतृत्व में कुशासन की सरकार चल रही है, सरकार की कार्यप्रणाली से तंग होकर मंत्रिमंडल के सदस्य भी चुनाव के पूर्व भविष्य के फैसले करने आमादा है, लेकिन जनता ने इस बात को अच्छी तरह परख लिया है अटल जी के सपनों को छत्तीसगढ़ बनाने के लिए मोदी जी के नेतृत्व में डबल इंजन की छत्तीसगढ़ में सरकार बनाना है, सबके साथ सबका विकास सबका सहयोग लेकर सेवा के लिए प्रतिबद्ध छत्तीसगढ़ का नव निर्माण होगा है, क्षेत्रवाद नकली सपूतों से राज्य की जनता को मुक्ति मिलेगी तभी छत्तीसगढ़ महतारी की समन्वित संस्कृति, अखंडता और संपूर्णता के सरोकारों को मूर्त रूप दिया जा सकेगा।

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