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जब डोनाल्ड ट्रंप की इस हरकत से व्हाइट हाउस का टॉयलेट हो गया था जाम When the White House toilet was jammed due to this act of Donald Trump

वॉशिंगटन. अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) किसी न किसी कारण से सुर्खियों में बने ही रहते हैं. ट्रंप अब एक नए विवाद में फंस गए हैं. पूर्व राष्ट्रपति पर आधिकारिक दस्तावेजों (White House Official Documents) को फाड़ कर फ्लश कर देने का आरोप है. ट्रंप ने इतने ज्यादा दस्तावेज फ्लश किए कि इससे व्हाइट हाउस का टॉयलेट (White House Toilet Block) ही जाम हो गया था. ट्रंप को लेकर कई खुलासे किए गए हैं. इसका खुलासा किया है. वे लंबे वक्त तक ट्रम्प बीट पर काम करती रही हैं. उनकी किताब 4 अक्टूबर को प्रकाशित होने वाली है.

 

अपनी आने वाली किताब ‘कॉन्फिडेंस मैन’ (Confidence Man) में इस मामले पर विस्तार के बात की है. किताब के मुताबिक, व्हाइट हाउस के कर्मचारियों ने यह देखा कि कागज की वजह से टॉयलेट चौक हो गया था. जिसके बाद यह माना गया कि ट्रंप ने दस्तावेजों को फ्लश किया.

 

कई बार तोड़ा था प्रोटोकॉल
द वॉशिंगटन पोस्ट के मुताबिक, डोनाल्ड ट्रंप ने राष्ट्रपति रहते कई बार प्रोटोकॉल्स तोड़ा था. इस बार मामला प्रेसिडेंशियल रिकॉर्ड को संभालने वाले नेशनल आर्काइव (National Archives) से जुड़ा है. नेशनल आर्काइव चाहता है कि पूर्व राष्ट्रपति की दूसरे मामलों के साथ कागज फाड़ने की आदत की भी जांच की जाए. ट्रंप पर ऑफिशियल डॉक्यूमेंट्स को फ्लोरिडा भेजने का भी आरोप लगा है.

व्हाइट हाउस छोड़ते वक्त अपने साथ 15 बॉक्स ले गए थे ट्रंप
द वॉशिंगटन पोस्ट के मुताबिक, नेशनल आर्काइव ने कहा है कि राष्ट्रपति चुनाव हारने के बाद ट्रंप व्हाइट हाउस छोड़ते वक्त कागजात से भरे 15 बॉक्स अपने साथ ले गए थे. इन्हें फ्लोरिडा में मार-ए-लागो रिसॉर्ट से बरामद किया गया. इन दस्तावेजों में किम जोंग उन के साथ किया गया पत्राचार भी शामिल है.

ट्रंप ने क्या कहा?
उधर, डोनाल्ड ट्रंप ने इन सभी आरोपों को सिरे से खारिज किया है और इसे किताब के लिए पब्लिसिटी स्टंट बताया है. ट्रंप ने कहा, ‘मेरे बारे में जो भी दिखाया गया वह फेक न्यूज है. राष्ट्रपति रहते मेरे नेशनल आर्काइव के साथ बहुत अच्छे रिश्ते थे. हमारे बीच किसी भी तरह का विवाद नहीं था. अपनी किताब के प्रचार के लिए रिपोर्टर ने एक नकली कहानी गढ़ी है.’ 

 

वर्किंग डॉक्यूमेंट्स नेशनल आर्काइव में भेजना जरूरी
दस्तावेजों से जुड़े वॉटरगेट स्कैंडल के सामने आने के बाद 1978 में राष्ट्रपति रिकॉर्ड अधिनियम (PRA) पारित किया गया था. इस अधिनियम के तहत अमेरिकी राष्ट्रपतियों को सभी ईमेल, लेटर और अन्य वर्किंग डॉक्यूमेंट्स नेशनल आर्काइव में ट्रांसफर करना जरूरी है.

 

 

 

 

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