कोरोना की दूसरी लहर में सांस फूलने के मामले सबसे ज्यादा सामने आ रहे हैं, जबकि इससे पहले की कोरोना लहर में सूखी खांसी, जोड़ों में दर्द और सिर दर्द जैसे लक्षण सामने आ रहे The second wave of corona has the highest number of cases of breathlessness, whereas in the earlier corona wave, symptoms like dry cough, joint pain and headache are coming.
इस वेव में ऑक्सीजन की ज़्यादा आवश्यकता पाई गई- डॉ. भार्गव
डॉ. बलराम भार्गव ने कहा कि इस वेव में ऑक्सीजन की ज्यादा आवश्यकता पाई गई। लोगों में सास की दिक्कत ज्यादा पाई गई है। दोनों वेव में मृत्यु दर में कोई अंतर नहीं देखा गया है। दोनों ही वेव में 70 प्रतिशत लोग 40 की उम्र के थे। आरटी-पीसीआर टेस्ट गोल्ड स्टैंडर्ड है, हम दो या अधिक जीन नापते हैं जिससे टेस्ट में कुछ भी मिस न हो। समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में उन्होंने कहा, ‘स्पष्ट तौर पर इस बार लक्षण कम है। जैसा की मैंने कहा था कि जोड़ों में दर्द, मांसपेशियों में दर्द, गंध न महसूस करना, गले में खराश जैसे लक्षण इस बार पहले की तुलना में कम दिख रहे हैं। हालांकि सांस लेने में कठिनाई इस बार अधिक देखी जा रही है।
इन कारणों के कारण तेजी से फैल रहा
कोरोना वायरस
साथ ही आईसीएमआर के डीजी डॉक्टर डॉ. भार्गव ने कहा कि कोटोना के तेजी से फैलने को लेकर तीन मुख्य वजहें बताई है। उन्होंने कहा कि कोटोना को लेकर शिथिलता, कोविड अनुचित व्यवहार और विभिन्न अज्ञात
उत्परिवर्तन (म्यूटेशन) के कारण कोटोना की देश में दूसरी लहर काफी तेज हो गई है। डॉ. भागव ने कहा कि कोटोना को लेकर ढिलाई देखने को मिली है। साथ ही ब्रिटेन, ब्राजील और दक्षिण अफ्रीका के कोटोना वायरस म्यूटेट भी चिंता का विषय है। डॉ. भार्गव ने बताया कि आरटी-पीसीआर टेस्ट गोल्ड स्टैंडर्ड है। इसमें दो या उससे अधिक जीन की जांच होती है। ऐसे में कोटोना वायरस के किसी भी म्यूटेंट का बचना संभव नहीं है।
क्या है डबल म्यूटेंट और इसके लक्षण र
डॉ. भार्गव ने कहा कि भारत में कोरोना का डबल म्यूटेंट वेरिएंट मिला है। हालांकि, अब तक यह सामने आया है कि वह ज्यादा संक्रामक नहीं है। फिलहाल, वर्तमान लक्षणों को देखते हैं तो वे ज्यादा गंभीर नहीं है। कोरोना की दूसरी लहर में सांस फूलने के मामले सबसे ज्यादा सामने आ रहे हैं, जबकि इससे पहले की कोरोना लहर में सूखी खांसी, जोड़ों में दर्द और सिर दर्द जैसे लक्षण सामने आ रहे थे।