कुंभ संक्रांति पर गंगा स्नान करने से मिलेगा पुण्य, जानिए कुछ खास बातें, Taking Ganga bath on Kumbh Sankranti will be rewarded, know some special things
राजनांदगांव से नीलकंठ की रिपोर्ट
कुंभ राशि में सूर्य का प्रवेश 12 फरवरी शुक्रवार को रात्रि 9 बजकर 03 मिनट पर होगा। जहां सूर्य 14 मार्च 2021 तक विराजमान रहेंगे। इसके बाद सूर्य मीन राशि में गोचर करेंगे। आओ जानते हैं खास 5 बातें
- सूर्य कुंभ राशि में आ रहे हैं और राशि चक्र के अनुसार कुंभ 11वीं है। कुंभ राशि सूर्य के पुत्र शनिदेव की राशि है अर्थात सूर्य अपने पुत्र की राशि में गोचर करेंगे।
- ज्योतिष शास्त्र में कुंभ राशि को वायु तत्व की राशि माना गया है। सूर्य कुंभ राशि में शुभ-अशुभ दोनों तरह के फल प्रदान करने जा रहे हैं। मेष में सूर्य ग्रह उच्च और शुक्र की राशि तुला में नीच का होता है। सूर्य ग्रह राशि चक्र की पंचम राशि सिंह का स्वामी है।
- इस बार कुंभ संक्रांति का महत्व ज्यादा है क्योंकि इस बार हरिद्वार में कुंभ का मेला चल रहा है। कुम्भ राशि में बृहस्पति का प्रवेश होने पर एवं मेष राशि में सूर्य का प्रवेश होने पर कुम्भ का पर्व हरिद्वार में आयोजित किया जाता है।
- मान्यता है कि इस दिन गंगा नदी में स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है। इस दिन सुख-समृद्धि पाने के लिए मां गंगा का ध्यान करें।5. अगर आप कुंभ संक्रांति के अवसर पर गंगा नदी में स्नान नहीं कर सकते हैं तो आप यमुना, गोदावरी या अन्य किसी भी पवित्र नदी में स्नान कर पुण्य की प्राप्ति कर सकते हैं।
ये भी कर सकते हैं: इस दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठकर सूर्य देव की उपासना, उन्हें अर्घ्य देना और आदित्य ह्रदय स्रोत का पाठ करने से जीवन के हर क्षेत्र में सफलता की प्राप्ति होती है। इस दिन खाद्य वस्तुओं, वस्त्रों और गरीबों को दान देने से दोगुना पुण्य मिलता है। इस दिन दान करने से अंत काल में उत्तम धाम की प्राप्ति होती है। इस उपाय से जीवन के अनेक दोष भी समाप्त हो जाते हैं। इस शुभ दिन सूर्य भगवान की विधि-विधान से पूजा करने पर उस घर-परिवार में किसी भी सदस्य के ऊपर कोई मुसीबत या रोग नहीं आता है। साथ ही भगवान आदित्य के आशीर्वाद से जीवन के अनेक दोष भी दूर हो जाते हैं। इससे प्रतिष्ठा और मान-सम्मान में भी वृद्धि होती है। अगर इस शुभ दिन पर सूर्यदेव के बीज मंत्र का जाप किया जाए तो मनुष्य को अपने दुखों से छुटकारा शीघ्र मिल जाता है।