धनोरा की बेटी के गैंग रेप मामले पर राजनीतिक रोटी सेकना बंद करें- कृष्णदत्त व शशिधरन
केशकाल। विकास खण्ड फरसगांव अंतर्गत ग्राम पंचायत बडेओडागांव के आश्रित ग्राम छोटे ओडागांव पुलिस थाना धनोरा के एक आदिवासी युवती के साथ 7 लोग मिलकर सामुहिक गैंग रेप मामला व युवती के फांसी लगाने के बाद थाना धनोरा में मर्ग कायम नहीं होना, युवती का शव को दफन कर मामले को दबाया गया था। इसी मामले पर 2 महीने बाद युवती के बाप द्वारा जहर खाकर आत्महत्या की कोशिश करने के बाद मिडिया व पूर्व विधायक कृष्ण कुमार ध्रुव के प्रयास से 2 महीना से दबे पडे इस सनसनी मामला को उठाकर उजागर किया गया। उक्त सनसनी मामला को जनता जनार्दन के सामने व शासन प्रशासन के सामने उजागर कराने वाले केशकाल के मीडिया कर्मी एवं भूतपूर्व विधायक कृष्ण कुमार द्वारा उठाया गया था। दो महीना के बाद घटना में शामिल 7 आरोपिगण गिरफ्तार व जेल जाने के बाद गैंगरेप आत्महत्या के को लेकर घड़ियाली आंसू बहा विधवा प्रलाप कर पार्टियां अपनी राजनीतिक रोटी सेंकना बंद करें।
उक्त आरोप कलमकार कृष्णदत्त उपाध्याय व के.शशिधरन ने जनता व शासन प्रशासन का ध्यान आकृषित करते हुए प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से प्रतिक्रिया व्यक्त करकेे बताया है कि धनोरा थाना अंतर्गत बहुत सी घटना होने के बाद भी तत्कालीन थाना प्रभारी द्वारा गंभीरता के साथ मामले में कार्यवाही नहीं किया जिसकी जानकारी धनोरा क्षेत्र के लोगो से प्राप्त हुआ है। ब्लाॅक केशकाल एवं विश्रामपुरी क्षेत्र में भी कई अपराधिक मामले का खुलासा भविष्य में उजागर होने के भी संकेत मिल रहे है। यह जगजाहिर है कि मामला महिनों से दबा रहा जबकि हर गांव में हर पार्टी के समर्थक तथा नेता हैं। मामला सोशल मीडिया के माध्यम संज्ञान में लाया गया और जिला पुलिस अधीक्षक ने जानकारी मिलते ही तुरंत एक्शन मोड में कार्यवाही करते हुए खुद मौके पर पंहुचकर पूरी संवेदना पूर्वक एवं गंभीरता से तहकिकात कर दफन किये गए युवती के लाश को निकलवाकर अग्रिम कार्रवाई कराया। सब कुछ हो जाने के बाद जले में नमक छिड़कने का काम करतेे दुखी होने का स्वांग रचते मरहम लगाने के नाम पर अपनी राजनीतिक रोटी सेंकने और पीडित परिवार के साथ फोटो खींचावाकर, छपवाकर अपना चेहरा चमकाने की कोशिश करने वाले नेता अब आरोप प्रत्यारोप का खेल खेलने में जुट गये हैं। जो अब क्षेत्र के लोगों को बिल्कुल पच नहीं रहा है। लोग भले सामने आकर कुछ नहीं बोल रहे हैं पर नेताओं के बारे में जमकर भडास निकालने में लगे हैं। वैसे भी प्रताड़ित परिवार को इस गम से उबरने देने के लिए समय और शांति की जरूरत है। वहीं क्षेत्रवासी भी चाह रहे हैं की रह रहकर घटना स्थल पर आने वाले सियासती नेताओं का सियासती पिकनिक टूर बंद हो, चूंकि जो होना चाहिए था वो सब हो चुका है अब आकर भी क्या कर लेंगे और क्या कर देंगे ॽ