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Bihar MP and Chhattisgarh government will pay rail fare to migrant labour nodakm | बिहार, एमपी और छत्तीसगढ़ की सरकारों का ऐलान- यहां के मजदूरों को नहीं देना होगा रेल किराया | bhopal – News in Hindi

बिहार, एमपी और छत्तीसगढ़ की सरकारों का ऐलान- यहां के मजदूरों को नहीं देना होगा रेल किराया

रेल किराया चुकाने को लेकर राजनीतिक दलों की बयानबाजी के बीच कई राज्‍यों ने रेल के किराये को लेकर यह फैसला किया है. (फाइल फोटो)

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) ने ट्रेन के किराये के साथ-साथ अलग से पैसे देने की भी घोषणा कर दी है.

नई दिल्ली. केंद्रीय गृह मंत्रालय के आदेश के बाद 4 मई से लॉकडाउन (Lockdown) के नियमों में ढील दी गई है. इस बीच देश के अलग-अलग राज्यों में रह रहे प्रवासी मजदूरों को बिहार, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ तक पहुंचाने के लिए ट्रेनें भी चलाई जा रही हैं. एक तरफ जहां लॉकडाउन में फंसे मजदूरों की घर वापसी हो रही है, वहीं रेल किराया चुकाने को लेकर राजनीतिक दलों की बयानबाजी भी चरम पर है. इन बयानों के बरक्स बिहार, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की सरकारों ने मजदूरों का रेल किराया चुकाने का ऐलान कर दिया है. मजदूरों से किराया लेने के आरोपों को लेकर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने तो किराये के साथ-साथ अलग से पैसे देने की भी घोषणा कर दी है.

बिहारः किराया और ऊपर से पैसे भी देगी सरकार
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) ने रेल किराया विवाद के सामने आने के बाद आज ऐलान किया कि बाहर से आने वाले छात्रों और मजदूरों का किराया राज्य सरकार वहन करेगी. आज जारी एक वीडियो संदेश में नीतीश कुमार ने केंद्र सरकार द्वारा लॉकडाउन के दौरान स्पेशल ट्रेन चलाने का स्वागत करते हुए कहा, ‘हमने पहले ही कहा था कि ट्रेन से ही आने पर बाहर से फंसे लोगों की समस्या का समाधान हो सकता है.’

सीएम नीतीश ने साफ किया कि जो भी लोग बाहर से आ रहे हैं, वो जिस स्टेशन पर आएंगे वहां से उन्हें प्रखंड मुख्यालय तक ले जाया जाएगा. सीएम ने कहा कि जब मजदूर या बाहर से आए लोग 21 दिन बाद क्वारंटाइन सेंटर से निकलेंगे तो खर्च के अलावा 500 रुपए जिसके लिए न्यूनतम 1000 रूपए की राशि तय की गई है, दी जाएगी.यह भी पढ़ें: सावधान! घर से निकलते ही आपके मोबाइल में इस खास एप की हो सकती है तलाश

MP: स्पेशल ट्रेन से आने वालों का किराया देगी सरकार
रेल किराया मामले में मध्य प्रदेश सरकार ने भी मजदूरों का किराया देने का ऐलान कर दिया है. प्रवासी मजदूरों को लाने वाली ट्रेने चलाने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की सरकार ने रेल मंत्रालय को प्रस्ताव भेजा है. इसको लेकर सरकार ने साफ कर दिया है कि इन ट्रेनों में सफर करने वाले मजदूरों का किराया सरकार चुकाएगी. लेकिन इन ट्रेन में सफर करने के लिए मजदूरों को पहले से अपना नाम लिखवाना होगा. इसके लिए टोल फ्री नंबर भी जारी किया गया है. मध्य प्रदेश के प्रवासी मजदूर 0755-2411180 फोन नंबर पर कॉल कर अपना नाम दर्ज करवा सकते हैं.

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छत्तीसगढ़ में सीएम भूपेश ने भी की घोषणा
लॉकडाउन में फंसे प्रवासी मजदूरों की घर वापसी और उनका रेल किराया चुकाने की दो राज्य सरकारों की घोषणाओं के बाद छत्तीसगढ़ सरकार भी आगे आई है. राज्य के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी की घोषणा के बाद ट्वीट कर प्रवासी मजदूरों का खर्च उठाने का ऐलान किया. सीएम बघेल ने अपने ट्वीट में कहा कि मजदूरों के लौटने का खर्च देने की घोषणा कांग्रेस पार्टी की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने की है. कोटा से जैसे हम बच्चों को लाए हैं, आगे भी शासन और कांग्रेस मिलकर मजदूरों को वापस लाएंगे. सीएम बघेल के इस ट्वीट के बाद छत्तीसगढ़ कांग्रेस के नेता शैलेश नितिन त्रिवेदी ने भी कहा कि कांग्रेस पार्टी राज्य सरकार की मदद से प्रवासी मजदूरों के लौटने का किराया वहन करेगी. इधर, सीएम के निर्देश पर राज्य के परिवहन आयुक्त डॉ. कमलप्रीत सिंह ने रायपुर के डिविजनल रेलवे मैनेजर एवं नोडल अधिकारी को इस बाबत पत्र लिखा है. साथ ही जरूरी कार्रवाई करने को कहा है.

 

 

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First published: May 4, 2020, 3:37 PM IST



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