छत्तीसगढ़

टीबी उन्मूलन की ओर बढ़ता कबीरधाम,जनसहभागिता से मिल रही मुहिम को गति

टीबी उन्मूलन की ओर बढ़ता कबीरधाम,जनसहभागिता से मिल रही मुहिम को गति

टीबी मुक्त भारत अभियान के अंतर्गत कवर्धा विकासखंड के मरीजों को मिला पोषण का साथ

कवर्धा, 30 जून 2025। टीबी मुक्त भारत के संकल्प को साकार करने के लिए कबीरधाम जिले में एक मानवीय और प्रेरणादायक पहल देखने को मिल रही है। जिला कलेक्टर श्री गोपाल वर्मा की अगुवाई में ’निक्षय मित्र’ योजना को जनसहभागिता का संबल मिल रहा है। इसी क्रम में कलेक्टर श्री वर्मा ने आज कवर्धा विकासखंड के चार टीबी मरीजों को गोद लेकर उन्हें प्रोटीन युक्त पोषण आहार उपलब्ध कराया, जिससे उनके उपचार को गति मिलेगी और स्वास्थ्य लाभ भी मिलेगा। उन्होंने बताया कि “निक्षय मित्र योजना” स्वास्थ्य सेवाओं में सामाजिक सहभागिता का उत्कृष्ट उदाहरण है। टीबी के इलाज में दवा के साथ-साथ पोषण अत्यंत आवश्यक है और समाज से मिलने वाला यह सहयोग मरीजों को शारीरिक एवं मानसिक विकास में लिए सहयोग भी होगा।
कलेक्टर श्री गोपाल वर्मा ने कहा कि केंद्र एवं राज्य सरकार की मंशा के अनुरूप टीबी मुक्त भारत अभियान को जिला स्तर पर प्रभावी ढंग से क्रियान्वित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि “निक्षय मित्र“ योजना के अंतर्गत समाज के प्रत्येक सक्षम व्यक्ति, जनप्रतिनिधि, शासकीय अधिकारी, व्यवसायी, संस्था अथवा संगठन को यह अवसर दिया गया है कि वे टीबी मरीजों की मदद के लिए आगे आएं और उन्हें इलाज के साथ-साथ पोषण का भी सहारा दें। उन्होंने अपील करते हुए कहा कि “टीबी मरीजों को नियमित दवा के साथ संतुलित पोषण मिलेगा, तो उनके जल्द स्वस्थ होने की संभावना कई गुना बढ़ जाती है।

कलेक्टर ने चार टीबी मरीजो को उनके उचित उपचार के किये गोद लिया

कलेक्टर श्री गोपाल वर्मा ने स्वयं “निक्षय मित्र“ बनकर कवर्धा विकासखंड के चार मरीजसुशीला भारती, टिकेश्वर साहू, सेखु साहू और गनेशिया धुर्वे को गोद लिया तथा उन्हें पौष्टिक खाद्य सामग्री प्रदान की। इस पहल में जिला कार्यक्रम अधिकारी, स्वास्थ्य विभाग श्रीमती अनुपमा तिवारी की भी सक्रिय भूमिका रही। उन्होंने बताया कि जिले के सभी विकासखंडों में “निक्षय मित्र” अभियान को गति दी जा रही है और अब तक अनेक स्वयंसेवी संगठनों, जनप्रतिनिधियों और आम नागरिकों द्वारा मरीजों को गोद लेने की प्रक्रिया प्रारंभ हो चुकी है। टीबी एक संक्रामक रोग है, जो लापरवाही और कमजोरी की स्थिति में तेजी से फैलता है। इसके प्रमुख लक्षणों में दो सप्ताह या अधिक समय से खांसी आना, भूख कम लगना, लगातार वजन घटना, शाम को बुखार आना और सीने में दर्द शामिल हैं।

मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी.एल. राज ने बताया कि यदि किसी व्यक्ति में यह लक्षण दिखें तो उसे तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में जाकर बलगम की जांच करानी चाहिए। समय पर जांच और इलाज से टीबी को पूरी तरह ठीक किया जा सकता है। कबीरधाम जिले में जनवरी से मई 2025 तक कुल 394 टीबी मरीज चिन्हांकित किए गए हैं। इनमें कवर्धा ब्लॉक में सर्वाधिक 180, पंडरिया में 94, बोड़ला में 63 और लोहरा में 57 मरीज सामने आए हैं। जिन्हें जन सहयोग से उनके बेहतर देखभाल और स्वास्थ्य सुधार के लिए पौष्टिक आहार उपलब्ध कराया जा रहा है। जनजागरूकता और सामूहिक प्रयास के लिए “निक्षय मित्र” योजना के माध्यम से समाज के विभिन्न वर्गों से लोग सामने आएंगे, तब टीबी जैसी बीमारी को जड़ से मिटाना संभव होगा। कलेक्टर श्री गोपाल वर्मा द्वारा दिखाई गई पहल, डॉ. बी.एल. राज के तकनीकी मार्गदर्शन और श्रीमती अनुपमा तिवारी के समन्वय से संचालित यह मुहिम निश्चित ही दूसरों के लिए प्रेरणा बन रही है।

Related Articles

Back to top button