एसआर हॉस्पिटल के चिकित्सकों बचाई दो साल की बच्ची की जान उसके श्वांस नली से फंस गया था बड़ा कंकड,नही ले पा रही थी सांस
दुर्ग। एसआर हॉस्पिटल चिखली दुर्ग में मात्र 2 वर्ष की बच्ची दचिका साहू के नाक में फंसे कंकड को तत्काल निकालकर बच्चे की जान बचाई गई है। खेलते वक्त दचिका के नाक के द्वारा श्वास नली में अन्दर गहराई तक बड़े साइज का गोल कंकड़ जाकर फंस गया था । जिससे बच्ची ठीक से सांस नहीं ले पा रही थी एवं नाक में अत्यधिक सूजन हो गया था। बच्ची को असहनीय दर्द भी हो रहा था।
मरीज के पिता ग्राम मंदराकुन्द खैरागढ़ निवासी मदन साहू ने बताया कि बच्ची को लेकर कई अस्पताल गए किन्तु किसी भी अस्पताल में ईलाज नहीं किया गया। सभी अस्पताल में कहा गया कि मरीज को तत्काल किसी बड़े अस्पताल में इलाज के लिए लेकर जाओ। मरीज के रिश्तेदार दुर्ग में रहते हैं उनसे संपर्क करने पर उन्होंने एसआर हॉस्पिटल चिखली दुर्ग में इलाज कराने की सलाह दी। एसआर अस्पताल चिखली दुर्ग के अस्पताल अधीक्षक डॉ रंजन सेन गुप्ता ने बताया कि जब 2 साल की बच्ची अस्पताल पहुंची बच्ची ठीक से सांस नहीं ले पा रही थी। बच्ची बहुत ज्यादा दर्द एवं तकलीफ में थी। बच्ची की गभीर स्थिति देखकर घर वाले भी बहुत घबड़ा गए थे।
अस्पताल के डॉक्टरों ने तत्परता दिखाई नाक कान गला रोग विशेषज्ञ डॉ अंकिता जोशी, नशचेतना विशेषज्ञ डॉ पवन देशमुख, डॉ अश्वनी शुक्ला, डॉ नीलम चन्द्राकर ऑपरेशन थिएटर इंचार्ज हरि साहू, सीमा बरहरे, मनोहर की संयुक्त टीम ने तत्काल बच्चे को मॉडलर ऑपरेशन थिएटर में ऑपरेशन के लिए लिया। आधुनिक उपकरणों की मदद से श्वास नली में अंदर तक पहुंच गए बड़े कंकड़ को निकाला गया। अस्पताल के नशचेतना विशेषज्ञ डॉ पवन देशमुख ने बताया कि 2 साल की बच्ची को बेहोश करना करने में खतरा ज्यादा होता है। टीम के सभी सदस्यों के अथक प्रयास से बच्चे की जान बचा ली गई। अस्पताल के चेयरमैन संजय तिवारी ने सभी डॉक्टर एवं सभी स्टाफ की सराहना करते हुए कहा कि सभी देवदूतों ने तत्काल अपनी सेवाएं प्रदान की जिससे एक बच्ची की जान बच गई।