घर खरीदने में नहीं होगी कोई मुश्किल, होम लोन लेते समय करें ये काम There will be no difficulty in buying a house, do this work while taking home loan
हर किसी का सपना होता है कि उसकी खुद की छत होनी चाहिए. घर बनाने के लिए एक आम आदमी अपने पूरे जीवन की कमाई लगा देते हैं. लोग घर बनाने के लिए पाई-पाई जोड़ते हैं, कर्जा लेते हैं, तब जाकर घर का सपना पूरा होता है. हालांकि, अब आसानी से होम लोन मिल जाता
है. आसान प्रोसेस और कम ब्याज दर पर होम लोन मिल जाता है.होम लोन के लिए अलग-अलग बैंकों के अलग-अलग नियम और ब्याज दर हैं. पति-पत्नी या परिवार के करीबी संबंधी के साथ होम लोन लेना ज्यादा आसान होता है. इसमें ज्यादा टैक्स बचत संग कई फायदे हैं, लेकिन किस्तों के भुगतान में कोई भी चूक दोनों के लिए परेशानी का सबब भी बन सकती है. पति-पत्नी मिलकर होम लोन ले रहे हैं तो कुछ बातों का जरूर ध्यान रखना आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकती हैं.घर के लिए कर्ज लेते समय कुछ बुनियादी बातों का ध्यान रखना जरूरी होता है. आप किस बैंक से लोन ले रहे हैं, ब्याज दर क्या है, ईएमआई स्टेटस क्या है और लोन कितने समय में चुकता करना है. इन तमाम बातों का अध्ययन करने के बाद लोन लेना चाहिए. अगर आप संयुक्त रूप से लोन ले रहे हैं तो इसके भी कई फायदे हैं.
लोन की समयावधि
जब आप होम लोन के लिए आवेदन करते हैं तो टेन्योर का फैसला बहुत सोच-समझकर लेना चाहिए. क्योंकि टेन्योर के आधार पर ईएमआई तय होती है. बैंक आम तौर पर 5 से 30 साल तक की अवधि के लिए लोन उपलब्ध कराते हैं. अपनी क्षमता के हिसाब से सही टेन्योर चुनना चाहिए. कम समय चुनने पर लोन की किस्त जल्दी पूरी हो जाएंगी लेकिन लंबा समय चुनने पर वित्तीय तनाव कम होगा.
ईएमआई का बोझ
पति-पत्नी मिलकर घर के लिए लोन ले रहे हैं तो इसका सबसे बड़ा फायदा यह होता है कि किसी एक के ऊपर लोन चुकाने का बोझ कम हो जाता है. आप मिलकर बड़ा घर खरीद सकते हैं. सरकार महिलाओं को रजिस्ट्रेशन शुल्क पर छूट देती है जिसका फायदा हो सकता है. अगर आप दोनों करदाता हैं तो दोनों अलग-अलग टैक्स छूट का दावा कर सकते हैं जिससे आप ज्यादा छूट के हकदार हो सकते हैं.
जब आप संयुक्त होम लोन लेते हैं तो पति-पत्नी, दोनों की क्रेडिट लिमिट खत्म हो जाती है. ऐसा होने पर इमरजेंसी की स्थिति में या अपने बच्चे के लिए एजुकेशन लोन के लिए बैंक कर्ज देने से मना कर सकता है.
होम लोन इंश्योरेंस
घर के लिए पति-पत्नी, दोनों ने लोन लिया हुआ है. अगर इनमें से किसी एक की मृत्यु हो जाती है तो पूरा लोन चुकाने की जिम्मेदारी जीवित व्यक्ति पर आ जाती है. इस तरह की घटना से बचने के लिए होम लोन का बीमा जरूर करा लेना चाहिए. बीमा होने की स्थिति में कर्ज चुकाने की जिम्मेदारी बीमा कंपनी की होती है.