देश दुनिया

इंग्लैंड में अगले हफ्ते से मास्क पहनना जरूरी नहीं, सरकार बोली- चरम पर पहुंचा ओमिक्रॉन It is not necessary to wear masks in England from next week, the government said – Omicron reached its peak

लंदन. इंग्लैंड में अगले सप्ताह से लोगों को मास्क पहनने के जरूरत नहीं है. प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन (Boris Johnson) ने बुधवार को कोविड संबंधी नियमों में ढील देने की घोषणा की. उन्होंने बताया कि वैज्ञानिकों का मानना है कि कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन की लहर देशभर में अपने चरम पर पहुंच चुकी है. इस दौरान उन्होंने सेल्फ-आइसोलेशन को भी जारी कड़े नियमों रिन्यू नहीं करने की संभावना जताई. मौजूदा सेल्फ आइसोलेशन नियम मार्च में खत्म हो रहे हैं.इससे पहले हाउस ऑफ कॉमन्स में सांसदों को दिए बयान में प्रधानमंत्री ने कहा था कि नाइट क्लब और बड़े कार्यक्रमों में प्रवेश के लिए कोविड पासपोर्ट की जरूरत खत्म होगी. हालांकि, संगठन चाहें, तो NHS कोविड पास का इस्तेमाल कर सकते हैं. लोगों को घर से काम करने की सलाह नहीं दी जाएगी. फेस मास्क जरूरी नहीं होगा, लेकिन लोगों को बंद या भीड़ वाली जगहों पर चेहरा कवर करने की सलाह दी जा रही है. इसके अलावा गुरुवार से माध्यमिक स्कूल वाले बच्चों को क्लास में मास्क नहीं पहनना होगा. पीएम जॉनसन ने कहा था कि आने वाले दिनों में यात्रा नियमों और इंग्लैंड में केयर होम विजिट को लेकर भी जारी पाबंदियों में ढील की घोषणा की जाएगी.

पीएम ने यह भी कहा कि सरकार का इरादा कोविड संक्रमित होने वालों को अपने आप आइसोलेट होने में कानूनी जरूरतों को खत्म करने का है. उन्हें बताया कि इसे सलाह और मार्गदर्शन के साथ बदल दिया जाएगा. सेल्फ आइसोलेशन को जारी नियम 24 मार्च को समाप्त हो रहे हैं.

इंग्लैंड के लिए प्लान B उपाय
– 27 जनवरी से इंडोर पब्लिस स्पेस या बंद सार्वजनिक स्थानों पर फेस मास्क लगाना जरूरी नहीं होगा. 20 जनवरी से माध्यमिक शिक्षा हासिल कर रहे बच्चों को क्लास में मास्क नहीं पहनने होंगे.

वर्क फ्रॉम होम गाइडेंस आज से ही समाप्त हो रही है.

– नाइट क्लब या बड़े कार्यक्रमों में प्रवेश के लिए टीकाकरण का सबूत या नया नेगेटिव टेस्ट रिजल्ट पेश करने की जरूरत नहीं होगी.

डाउनिंग स्ट्रीट प्रेस कॉन्फ्रेंस में स्वास्थ् सचिव साजिद जावेद ने कहा, ‘यह वह क्षण है, जिसपर हम गर्व कर सकते हैं.’ उन्होंने कहा, ‘यह याद दिलाता है कि जब हम साथ मिलकर काम करें, तो देश लक्ष्य हासिल कर सकता है.’ लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि इसे ‘फिनिश लाइन’ या अंतिम रेखा भी नहीं मानना चाहिए, क्योंकि वायरस और भविष्य में आने वाले वेरिएंट्स को खत्म नहीं किया जा सकता. जावेद ने कहा कि इसके बजाए हम जिस तरह फ्लू के साथ जीना सीख चुके हैं, उसी तरह कोविड के साथ जीना भी सीखना होगा.

 

 

Related Articles

Back to top button