हिमाचल में आपसे में ही भिड़े कांग्रेसी, रायजादा ने विक्रमादित्य सिंह को दी चुप्पी की सलाह Congressmen clashed with you in Himachal, Raizada advised Vikramaditya Singh of silence
ऊना. हिमाचल कांग्रेस में चल रही अंदरूनी कलह एक बार फिर विक्रमादित्य सिंह की सोशल मीडिया पर की गई पोस्ट के बाद खुलकर सामने आ गई है. दरअसल, शिमला ग्रामीण के विधायक और पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय वीरभद्र सिंह के पुत्र विक्रमादित्य सिंह ने बुधवार को पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे के दौरान हुई घटना पर पंजाब की कांग्रेस सरकार को ही सवालों के घेरे में ला खड़ा कर दिया था.इस दौरान उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के काफिले को रोक के जाने को लेकर पंजाब सरकार का बड़ा फेलियर बताया था. विक्रमादित्य सिंह की फेसबुक पोस्ट के खिलाफ ऊना सदर के कांग्रेसी विधायक सतपाल सिंह रायजादा ने भी फेसबुक पर पोस्ट डाल और वीडियो जारी कर उन्हें जमकर फटकार लगाई.
पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे के दौरान हुए प्रकरण पर शिमला ग्रामीण के कांग्रेसी विधायक विक्रमादित्य सिंह द्वारा फेसबुक पर डाली गई पोस्ट के खिलाफ ऊना सदर के कांग्रेसी विधायक सतपाल सिंह रायजादा ने उन्हें जमकर आड़े हाथों लिया. विधायक रायजादा ने जहाँ फेसबुक पर विक्रमादित्य की पोस्ट के स्क्रीनशॉट शेयर कर टिप्पणी की. वहीँ रायजादा बिना विक्रमादित्य का नाम लिए अपनी ही पार्टी के खिलाफ बोलने वाले कांग्रेस नेताओं को ऐसा न करने की नसीहत दी है.
रायजादा ने विक्रमादित्य सिंह से क्या कहा
फेसबुक पर पोस्ट में रायजादा ने कहा कि यदि विक्रमादित्य सिंह केंद्र की तानाशाह भाजपा सरकार के खिलाफ चल रही लड़ाई में कांग्रेस कार्यकर्ताओं का साथ नहीं दे सकते तो कम से कम उन्हें चुप रह लेना चाहिए. उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन के दौरान 800 किसान मारे गए, तब विधायक विक्रमादित्य सिंह को गलत और सही में फर्क क्यों नहीं नजर आया. वहीँ, रायजादा ने कहा कि पंजाब में भाजपा द्वारा रची गई इस राजनीतिक साजिश के लिए भाजपा के कार्यकर्ता कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और राहुल गांधी को जिम्मेदार बता रहे हैं. दूसरी तरफ, कांग्रेस के ही नेता सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपनी ही पार्टी के शीर्ष नेतृत्व और सरकार के खिलाफ इस तरह की पोस्ट डाल कर जनता और अपने ही कार्यकर्ताओं को क्या संदेश देना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि पंजाब में जो कुछ हुआ उसकी जांच होनी चाहिए, उन्होंने कहा कि घटना के लिए पंजाब पुलिस जिम्मेवार है तो प्रधानमंत्री की सुरक्षा देखने वाला गृह मंत्रालय भी इसके लिए बराबर जिम्मेवार है.
हिमाचल कांग्रेस के विधायक विक्रमादित्य सिंह (Vikramaditya Singh) ने मामले को लेकर कांग्रेस पार्टी से हटकर बयान दिया है. उन्होंने पंजाब सरकार से पूरे मामले की जांच की मांग की है और साथ ही अफसरों पर भी कार्रवाई करने की बात कही है.
विक्रमादित्य सिंह ने क्या कहा
विक्रमादित्य सिंह ने लिखा था कि जो घटनाक्रम हुए हैं, वह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है. देश के प्रधानमंत्री, चाहे किसी भी राजनैतिक दल से क्यों न हो, उनकी सुरक्षा में इस तरीके का लैप्स हैरान करने वाला है. पंजाब सरकार को जांच करवानी चाहिए और जिन अधिकारियों की ओर से इसमें कमी पाई गई है, उन पर तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए. विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि जो तर्क दिया गया है कि प्रधानमंत्री हेलीकॉप्टर से सभा स्थल तक पहुंंचने का कार्यक्रम था, इसीलिए यातायात का इंतजाम पूर्ण रूप से नहीं किया गया था, ठीक नहीं है. क्योंकि हम जानते हैं, जब इस स्तर के VVIP का कार्यक्रम होता है तो
ऑल्टरनेट रूट भी तत्कालीन परिस्थिति में निष्क्रमण के लिए रखे जाते हैं, ताकि किसी भी परिस्थिति में उन्हें वहां से सुरक्षित बाहर निकाला जा सके.