
छत्तीसगढ़ टुंडरा। ग्राम पंचायत टुंडरी में श्रीमद् भागवत महापुराण ज्ञान यज्ञ सप्ताह का ग्रामवासी रसपान कर रहे हैं। जिसमें किशोरी आराध्या शर्मा ने भगवान श्री कृष्ण की बाल लीला की कथा सुनाते हुए बताया कि भगवान श्री कृष्णा बचपन से ही नटखट हैं। जितना नंदबाबा और यशोदाजी को परेशान करते थे उतना ही वह गांव वालों को अपने नटखट अंदाज और लीलाओं से परेशान करते थे। कृष्णजी अपने सखाओं के साथ गांव वालों के माखन चुरा कर खाते थे, गांव की महिलाएं व पुरुष इसकी शिकायत लेकर नंदबाबा और यशोदा मैया के पास पहुंच जाते तब उन्हें अपनी मां की डांट खानी पड़ती थी।
किशोरी बताती हैं कि एक बार कृष्णजी अपने मित्रों के साथ यमुना नदी के किनारे गेंद खेल रहे थे और अचानक गेंद यमुना नदी में चली गई। गेंद के डूबने पर सभी साथियों ने कृष्णजी को नदी से गेंद निकालकर लाने को कहा। जिसके बाद वे तुरंत कदम के वृक्ष में चढ़कर यमुना नदी में कूद पड़े और फिर नदी में जहरीले नाग कालिया का वधकर दिया। किशोरी भक्तों को बताती है कि एक बार भगवान इंद्र ने वृंदावन में खूब बारिश की जिससे गांव वालों का सब कुछ उजड़ गया। पूरे गांव में इतनी बारिश की कि वृंदावन बारिश से पानी पानी हो गया। गांव वालों को जब कोई सहारा नहीं था जब भगवान श्रीकृष्ण ने देखा तो उन्होंने गोवर्धन पर्वत को अपनी उंगली में उठाकर पूरे गांव वालों को गोवर्धन पर्वत के नीचे शरण दिए। कथावाचक किशोरी ने माखन चोर गोवर्धन धारी की कथा को सुनाकर श्रोतागणों को मंत्रमुग्ध कर दिया। इस दौरान कसडोल विधायक व संसदीय सचिव शकुंतला साहू समेत जनप्रतिनिधि, ग्रामवासी मौजूद थे।