छत्तीसगढ़जांजगीर

राजस्व अधिकारियों की समीक्षा बैठक

  राजस्व अधिकारियों की समीक्षा बैठक 
राजस्व प्रकरणों का निराकरण समय सीमा के भीतर सुनिश्चित करें -कलेक्टर,
 जांजगीर-चांपा-  कलेक्टर  जितेंद्र कुमार शुक्ला ने आज राजस्व अधिकारियों की बैठक में कहा कि राजस्व प्रकरणों का निराकरण समय सीमा के भीतर सुनिश्चित करें। आगामी 30 अगस्त तक 1 वर्ष से अधिक के पुराने प्रकरण लंबित ना रहे। समय सीमा से अधिक लंबित रहने पर संबंधित अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने सभी एसडीएम को अपने अधीनस्थ राजस्व कार्यालयों में लंबित प्रकरणों की नियमित समीक्षा करने के निर्देश दिए।
कलेक्टर ने बताया कि ऑनलाइन नामांतरण के प्रकरणों में पक्षकारों की भौतिक उपस्थिति अनिवार्य नहीं है। आॅन लाईन प्रक्रिया के तहत पक्षकारों को सूचना तामील करवाने के पश्चात निर्धारित समय के भीतर उसके नामांतरण की प्रक्रिया पूरी की जाएगी। उन्होंने कहा कि कोई भी राजस्व न्यायालय में ऑनलाइन नामांतरण के प्रकरणों में पक्षकारों को उपस्थित होने के लिए बाध्य नहीं किया जाए।
कलेक्टर ने राजस्व प्रकरणों की समीक्षा के दौरान तहसीलदार के आदेश स्तर पर लंबित प्रकरणों की संख्या जैजैपुर तहसील में अधिक होने पर तथा चांपा तहसील में अभिलेख दुरुस्ती  के लंबित प्रकरणों की संख्या अधिक होने पर संबंधित तहसीलदारों के प्रति गहरी नाराजगी व्यक्त की।
कलेक्टर ने कहा कि गिरदावरी के कार्य में राजस्व विभाग का मैदानी अमला बहुत ही संवेदनशीलता और सावधानी से कार्य करें। गिरदावरी  में त्रुटि होने पर समर्थन मूल्य पर धान बेचने वालों किसानों के पंजीयन में गलत रकबा दर्ज हो जाता है। जिससे किसानों को धान बेचने में अनावश्यक परेशानियों  का सामना करना पड़ता है।
कलेक्टर ने कहा कि शासकीय भूमि को सुरक्षित रखने की जिम्मेदारी राजस्व विभाग के अधिकारियों की है। विगत वर्षों में बहुत बड़े रकबे को चिंहाकित कर लाल झंडा लगाकर अतिक्रमण से मुक्त कराया गया था। अतिक्रमण से मुक्त कराए गए  शासकीय भूमि में पुनः अतिक्रमण न हो, यह सुनिश्चित करें।  इसके अलावा  शासकीय भूमि में अतिक्रमण होने पर तत्काल कार्यवाही कर मुक्त करवाएं।  कलेक्टर ने कहा कि किसी भी शासकीय भूमि में फसल नहीं लगनी चाहिए।
कलेक्टर ने कहा कि राजस्व अधिकारी जनहित के कार्यों को प्राथमिकता से पहले पूरा करें। कार्यालय में आने वाले आगंतुकों से मुलाकात अवश्य करें। आगंतुकों की बात को धैर्य से सुने और गंभीरता पूर्वक उसके समाधान के लिए चर्चा भी करें। इससे आम जनता  में सकारात्मक सोंच और अनुकूल वातावरण का निर्माण होगा। इससे  कार्य करने में आसानी होगी।  कलेक्टर ने कहा कि अनेक समस्याओं व मतभेदों का निराकरण सामान्य संवाद से ही हो जाता है।
कलेक्टर ने ई-कोर्ट के प्रकरणों की समीक्षा करते हुए कहा कि  न्यायालय के शत-प्रतिशत प्रकरण ई-कोर्ट में दर्ज होने चाहिए। प्रकरणों की सुनवाई के लिए लंबी अवधि  की तारीख न दें। इससे  समय पर आदेश पारित किया जा सकेगा। उन्होंने सभी राजस्व अधिकारियों से कहा कि वे प्रत्येक सप्ताह  सोमवार और शुक्रवार को न्यायालय में प्रकरणों की सुनवाई अवश्य करें। सोमवार और शुक्रवार के अलावा अपनी सुविधा अनुसार अन्य दिनों में भी प्रकरणों की सुनवाई के लिए दिन तय कर सकते हैं।
 बैठक में सीमांकन, नामांतरण, राजस्व वसूली, डायवर्सन, खाता विभाजन आदि के भी समीक्षा की गई। बैठक में अपर कलेक्टर  लीना कोसम सहित सभी एसडीएम व राजस्व अधिकारी उपस्थित थे।

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