नियमतः नहीं हुआ भिलाई नगर निगम का वार्ड आरक्षण, As a rule, ward reservation of Bhilai Municipal Corporation was not done
भिलाई / परिसीमन और आरक्षण की लड़ाई लड़ने वाले आरटीआई कार्यकर्ता व कांग्रेसी नेता अली हुसैन सिद्दीकी ने भिलाई निगम के आरक्षण पर आपत्ति लगाई है और उन्होंने यह बताया कि नगर पालिक निगम अधिनियम 1956 की धारा -11 एवं छत्तीसगढ़ नगर पालिका (अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछड़ा वर्ग एवं महिलाओं के लिए वार्डों का आरक्षण) नियम 1994 में यह स्पष्टीकरण दिया गया है कि यदि किसी वार्ड का क्रमांक अथवा नाम परिवर्तन कर दिया जाता है किंतु वार्डों की सीमाएं यथावत है अर्थात वार्ड के मूल स्वरूप में कोई परिवर्तन नहीं हुआ है तो नवीन आरक्षण हेतु पूर्व वर्षों में आरक्षण स्थिति अनुसार चक्रानुक्रम लागू रहेगा और यदि कोई वार्ड को दो भागों में विभक्त कर दिए जाने से, वार्ड में नया क्षेत्र सम्मिलित हो जाने से अथवा वार्ड का पूर्व क्षेत्र कट कर दूसरे वार्ड में चले जाने से नए वार्ड बन जाते हैं तो पूर्व के वार्ड की चतुर्सीमा बदल जाने से नवगठित वार्ड बन जाने से आरक्षण हेतु चक्रानुक्रम लागू नहीं रहेगा तथा ऐसे वार्डों को आरक्षण हेतु नया वार्ड माना जाएगा और लॉटरी सिस्टम से चीट निकाल कर आरक्षण किया जाएगा। लेकिन इन नियमों को ताक में रखते हुए मनमाने तरीके से बिना वीडियोग्राफी के भिलाई नगर निगम के 70 वार्डों का आरक्षण चीट निकाल कर लॉटरी के माध्यम से किया गया है जबकि नगर पालिक निगम भिलाई के 7 ऐसे वार्ड हैं जोकि पहले की स्थिति में हैं जिनका जनगणना ब्लॉक भी समान है और जनसंख्या भी समान है और सम्मिलित क्षेत्र भी समान है जो वार्ड इस प्रकार हैं वार्ड क्रमांक 19 राजीव नगर कोहका जिसका जनगणना ब्लॉक 198 से 207 तक है जो पूर्व में भी यही जनगणना ब्लॉक था, वार्ड क्रमांक 36 श्याम नगर जिसका जनगणना ब्लॉक 403 से 416 है जो पूर्व में भी यही था,वार्ड क्रमांक 47 राधा कृष्ण मंदिर न्यू खुर्सीपार जिसका जनगणना ब्लॉक 522 से 535 है जो पूर्व में भी यही जनगणना ब्लॉक था,सेक्टर 2 पूर्व जिसका जनगणना ब्लॉक 548 से 555, 895, 896 है और और पूर्व में भी यही जनगणना ब्लॉक था, पांचवा वार्ड क्रमांक 56 सेक्टर 2 पश्चिम जिसका जनगणना ब्लॉक 556 से 565 तक है जो पूर्व में भी यही था, वार्ड क्रमांक 59 सेक्टर 5 पूर्व जिसका जनगणना ब्लॉक 591 से 599, 889 से 891 है जो पहले भी यही था और वार्ड क्रमांक 68 सेक्टर 8 जिसका जनगणना ब्लॉक 668 से 674 तक है जो पहले भी यही था एवं सभी वार्डों की जनसंख्या भी पूर्व के समान ही है जब जनसंख्या और और जनगणना ब्लॉक नहीं बदले हैं तो फिर इनकी चौहदी भी नहीं बदली होगी तो फिर इन वार्डो को नया वार्ड नहीं माना जा सकता है और इन सातों वाडो का आरक्षण चक्रानुक्रम में कराया जाना था लेकिन इन 7 वार्डों को भी नया वार्ड मानते हुए लॉटरी के माध्यम से चीट निकाल कर आरक्षण कराया गया है जिस कारण से इन 7 वार्डों के साथ-साथ और भी कई सारे वार्ड गलत आरक्षण से प्रभावित हुए हैं जोकि सरासर नियम विरुद्ध है । इतनी बड़ी गलती को अगर कोई ध्यान में रखते हुए हाई कोर्ट में याचिका दायर करता है तो फिर से आरक्षण की प्रक्रिया करवानी पड़ सकती है ।