टाउनशिप हाउस लीज संयुक्त संघर्ष समिति की 266 वीं सप्ताहिक बैठक 07-जुलाई-2019 दिन रविवार को सेक्टर- 2 शक्ति सदन में हुई सम्पन्न
भिलाई नगर / हाउस लीज संयुक्त संघर्ष समिति की 266 वीं आज की सप्ताहिक बैठक में 6 जुलाई को प्रबंधक , विधायक भिलाईनगर, कलेक्टर दुर्ग और नगर निगम आयुक्त के साथ संपन्न हुई बैठक के विषय में बिन्दुवार चर्चा की गई , सबसे पहले सदस्यों ने व्यापारियों के लीज नवीनीकरण एवं अन्य समस्याओं के निराकरण संबंधी सार्थक चर्चा एवं पहल पर हर्ष व्यक्त किया। संचालक मंडल ने बताया कि भिलाई टाऊनशिप का मुख्य ज्वलन्त समस्या हाऊस लीज और नियमितीकरण है क्योंकि पूर्व इस्पात मंत्री द्वारा सार्वजनिक रूप से घोषित और उसे सेल बोर्ड के 340 वीं बैठक में अनुमोदित हाऊस लीज को लागू कराना है जिसके लिए अभी 5 वर्षों से निरन्तर आंदोलन जारी है। हाऊस लीज लागू होने में मुख्य रुकावट लीजी आवासों में हुए अवैध निर्माणों का नियमितीकरण करना है चूंकि यह क्षेत्र नगर निगम भिलाई के क्षेत्र में है इसलिए निगम आयुक्त द्वारा दिनाँक 05-फरवरी-2018 को पत्र क्रमांक सात/2/भ.अ./18/4037 के तहत बी.एस.पी. के सी.ई.ओ.को नियमितिकरण हेतु पत्र लिखा जा चुका है, जिस पर लंबे अंतराल के बाद भी अभी तक कोई कार्यवाही नहीं हुई है, चूंकि रिटेंशनधारी आवास छोड़ने के लिए नहीं बल्कि हाऊस लीज के लिए आवासों में रह रहे हैं, इस संबंध में अतिशीघ्र महापौर, निगम कमिशनर और सी.ई.ओ. के मध्य बैठक होना नितांत आवश्यक है, ताकि लीज के लिए रास्ता साफ हो सके, इसी में भिलाई वासियों की भलाई है जो कि सबका दायित्व भी है।
यहां यह तथ्य उल्लेखनीय है कि दिनाँक 8-जून-2002 को हाऊस लीज योजना के संबंध में तात्कालिक छ.ग. शासन के सचिव आर.पी. शर्मा द्वारा जिला कार्यालय दुर्ग में कलेक्टर आई.पी. केशरी, बी.एस.पी. के एम.डी. बी.के. सिंह, नगर प्रशासक एस.के. जैन के उपस्थिति में बैठक संबंधी उपलब्ध के क्रमांक 12 में यह साफ उल्लेख है कि “अनाधिकृत रूप से कब्जा कर आवास में रहने वालों को मकान लीज पर दिया जाकर नियमितीकरण करना बताया है।
बैठक में प्रबन्धक के कथनानुसार 1100 आवास रिटेंशन के लिए संरक्षित किये गए हैं इसका उल्लेख किसी भी दस्तावेजों में नहीं किया गया है यदि रिटेंशन के लिए आवास की सीमा निश्चित की गई है तो जून माह में रिटेंशन के लिए अस्वीकृत किए गए आवेदनों में यह कारण क्यों नहीं बताया गया है।
यदि प्रबन्धक अवैध कब्जाधारी और मुफ्त में रहने के कारण खुर्सीपार और कैम्प क्षेत्र के आवासों को नगर निगम में लायसेंस में देने को तैयार है तो अन्य सेक्टरों में रह रहे रिटेंशनधारियों को लाइसेंस में देने में कोई दिक्कत नहीं होनी चाहिए क्योंकि ये भी केवल बिजली बिल पटा रहे हैं आवास किराया नहीं। खुर्सीपार और कैम्प भी भिलाई टाऊनशिप का एक अंग है अतः सभी के लिए समान नीति एवं न्याय होना चाहिए। प्रबन्धन हाउस लीज के लिए पहल करे जिससे आवास समस्या के हल करने के साथ ही कम्पनी को आय प्राप्त होगा इस संबंध में गंभीरता से विचार करने की आवश्यकता है।
आज की बैठक में अध्यक्ष राजेंद्र परगनिहा, पी आर वर्मा, बी पी राजपूत, टीकम वर्मा, बी पी चौरसिया, शत्रुहन धनकर, नारद, पुनाराम जयसवाल, तेनसिंग राजपूत, नंदकुमार वर्मा, प्रजापति, हरेंद्र पांडेय, गंगा प्रसाद, अवधेश पांडेय, लियाक़त अली, चेतन यादव, एम जी बेग, सत्यदेव प्रसाद, रमेश पाल, एस एल चंद्रवंसी, गजानंद, तुलसी साहू, शंकर साहू, सुरेंद्र मोहंती, आर के चौबे, बोरकर, देवदास, एम आर अनंत एवम राजहरा से रमेश पेंढारकर, जी एल देवदास, दीवानजी, हीरालाल सहित सैकड़ों लोग उपस्थित थे।
पी. आर. वर्मा ( महासचिव, हाउस लीज संयुक्त संघर्ष समिति )